मेला सभी का, सहयोग करें, विवाद नहींःमैं नहीं विप्र समाज अध्यक्ष-अतुल शर्मा
हाथरस, नीरज चक्रपाणि। चामड़ गेट स्थित नई धर्मशाला पर ब्राह्मण महासभा की बैठक भगवान परशुराम शोभायात्रा को भव्यता प्रदान करने तथा परशुराम शोभायात्रा के कार्यालय का उद्घाटन करने के लिये समाज के पूर्व अध्यक्षों के साथ-साथ शहर व देहात के ग्रामीण विप्रजनों से प्रस्ताव लेने हेतु ब्राह्मण महासभा व परशुराम शोभायात्रा के अध्यक्ष अतुल शर्मा (चौपइया वाले) सुपुत्र स्व. विष्णु बौहरे ने आयोजित की।
बैठक में पूर्व अध्यक्ष किशनलाल शर्मा ने कहा कि ब्राह्मण महासभा के अध्यक्ष का चुनाव सर्वसम्मति से 29 दिसम्बर को हो चुका है। पूर्व अध्यक्ष ने जो विज्ञप्ति दी थी कि चुनाव गलत हुआ है, यह कहना सरासर गलत है। क्योंकि पूर्व अध्यक्ष मात्र अपना लेखा जोखा ही नये अध्यक्ष को दे सकता है। इसके अतिरिक्त और कोई कार्य उनका नहीं होता है। हम सभी विप्रजनों को वर्तमान नवयनियुक्त अध्यक्ष अतुल शर्मा का सहयोग करना है। क्योंकि यह शोभायात्रा समस्त समाज की है। हम सभी को अपने समाज की हंसी पिछली बार की तरह नहीं करानी है।
विष्णु गौतम ने कहा कि मेला को इस बार भव्यता का रूप लेना चाहिये और कुछ नया शोभायात्रा में होना चाहिये। सभी का सहयोग अतुल शर्मा के साथ है। पूर्व अध्यक्ष कुंजबिहारी शर्मा ने कहा कि अतुल शर्मा नवयुवक हैं और पूर्ण आशा है कि सभी को साथ लेकर चलेंगे। पूर्व अध्यक्ष सुभाष पचैरी ने कहा कि ब्राह्मण महासभा का अध्यक्ष का ताज कांटों का ताज है। वर्तमान अध्यक्ष पर समाज की जिम्मेदारी बन जाती है कि कहीं कोई अप्रिय घटना न हो और सभी के सुख दुख में शामिल रहें।
पूर्व प्राचार्य गिरीश पचैरी ने कहा कि यह समाज की शोभायात्रा है। इसमें शहर के साथ-साथ ग्रामीण क्षेत्रों के ब्राह्मणों को भी जोड़ा जाये और उनसे पूर्ण सहयोग लिया जाये। हम सभी वर्तमान अध्यक्ष अतुल शर्मा के साथ हैं। पूर्व अध्यक्ष श्याम सुन्दर शर्मा ‘बंटी भैया’ ने कहा कि जो चुनाव हमारे बुजुर्गों ने कर लिया है, वही मान्य है। कुछ लोग ब्राह्मण समाज को लड़ाने का कार्य कर रहे हैं, यह गलत है। हम सभी का दायित्व है कि वर्तमान नवनियुक्त अध्यक्ष अतुल शर्मा का साथ दें और शोभायात्रा को भव्यता प्रदान करें।
पूर्व अध्यक्ष प्रवीन कौशिक ने कहा कि भगवान परशुराम शोभायात्रा तथा ब्राह्मण महासभा के नवनियुक्त अध्यक्ष अतुल शर्मा का परिवार पुराना परिवार है। इनके परिवार को जनपद ही नहीं बाहर के लोग भी जानते हैं। इसलिये ऐसे परिवार से अध्यक्ष का चयन होना हम सभी के लिये अच्छी बात है। पप्पन पहलवान ने कहा कि हर अध्यक्ष की यह जिम्मेदारी होती है कि वह समाज में लेखा-जोखा प्रस्तुत करे और पिछले कई अध्यक्षों ने आज तक हिसाब किताब नहीं दिया है, यह गलत है। अतुल शर्मा से यह अपेक्षा भी की है कि वह आगामी वर्ष में हिसाब किताब समाज के सामने प्रस्तुत करें। पूर्व अध्यक्ष संजीव शर्मा ने कहा कि भगवान परशुराम शोभायात्रा का रथ काफी जर्जर हो चुका है इसको सही कराना अत्यन्त आवश्यक है। जिससे कोई दुर्घटना घटित होने से रूक सके। अतुल शर्मा सर्वप्रथम रथ की मरम्मत की व्यवस्था करें।
पूर्व अध्यक्ष मुकेश दीक्षित भट्टा वालों ने कहा कि ब्राह्मण समाज बुद्धिमान है और कुछ लोग अपनी नेतागिरी चमकाने के लिये यह गलत वयानबाजी कर रहे हैं। किसी की बातों में समाज न आये और प्रेमपूर्ण वातावरण में शोभायात्रा को सम्पन्न कराये। किशनलाल सारस्वत (ट्रांसापोर्ट) ने कहा कि ब्राह्मण समाज की वर्षों पुरानी मांग धर्मशाला आज तक लम्बित है इस ओर भी अतुल शर्मा ध्यान दें और समाज के सभी लोगों को लेकर इसको आगे बढ़ायें। पूर्व अध्यक्ष उमेश शर्मा (रौबी) ने कहा कि जो भी व्यक्ति तन से, मन से व धन से सहयोग करें उनका सम्मान शोभायात्रा के पश्चात जरूर करना चाहिये। करूणेश मोहन दीक्षित व ब्रह्मदेव शर्मा ने कहा कि यह ब्राह्मण समाज का मेला है इसमें कोई दल नहीं हैं सभी दल समाज में समाहित हैं। अतुल शर्मा सभी दलों के ब्राह्मणों को बिना किसी भेदभाव के साथ लेकर चलें।
अन्त में ब्राह्मण महासभा के अध्यक्ष अतुल शर्मा ने कहा कि मैं सभी लोगों को साथ लेकर चलूंगा। मैं अध्यक्ष जरूर हूं, लेकिन मेरे समाज का हर व्यक्ति अपने आपको अध्यक्ष समझे। सभी लोगों और पूर्व अध्यक्षों ने जो प्रस्ताव या सुझाव दिये हैं उनको पूरा करने का हरसंभव प्रयास करूंगा और उम्मीद करूंगा कि सभी लोग मुझे अपना सहयोग प्रदान करेंगे। जिससे शोभायात्रा भव्यता से निकाली जा सके। अध्यक्षता कर रहे पूर्व अध्यक्ष उदयवीर शर्मा ने सभी का आभार व्यक्त किया। संचालन ब्रजेश वशिष्ठ ने किया।
बैठक में राकेश उपाध्याय, अनिल दीक्षित, वीरेन्द्र बौहरे, आदित्य शर्मा, शरद उपाध्याय नन्दा, विशाल सारस्वत, अरूण शर्मा (चौपइया वाले), दीपक शर्मा, रामनिवास उपाध्याय, रवि सारस्वत, हिमांशु वशिष्ठ, प्रवीन सारस्वत, श्याम शर्मा, राम शर्मा, अरूण उपाध्याय, जितेन्द्र शर्मा (सेवा भारती), पूर्व अध्यक्ष देवेन्द्र शर्मा, अजीत शर्मा, देवदत्त शर्मा, विष्णु शर्मा, अनिल शर्मा, गोपाल चतुर्वेदी, पूरन शर्मा, विकास कौशिक, विरजो गुरू, करूआ गुरू, राकेश दीक्षित, अनिल शर्मा, कमल पालीवाल, हरस्वरूप शर्मा, मुकेश दीक्षित, उमेश कौशिक, रामनाथ कौशिक, डा. ललितेश शर्मा, बंगाली बाबू, प्रशान्त शर्मा, सुशील गौड़, दुर्गादत्त उपाध्याय, सभासद निशान्त उपाध्याय, पूर्व अध्यक्ष अविनाश पचौरी, संजीव उपाध्याय, ब्रजमोहन दीक्षित, दिनेश शर्मा, प्रशान्त विमल, मृदुल भारद्वाज, कुलदीप शर्मा, शशांक पचौरी, पूर्व अध्यक्ष केशवदेव शर्मा, पूर्व अध्यक्ष रिषी कौशिक, अधीर पचौरी, लवकुश शर्मा, चिन्टू गौतम, दुष्यन्त शर्मा आदि विप्र लोग उपस्थित थे।