सख्त प्रोटोकॉल के माध्यम से पीपीई की गुणवत्ता सुनिश्चित की जा रही है
नई दिल्ली, जन सामना ब्यूरो। मीडिया में कुछ रिपोर्टें आईं हैं, जिसमें व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण (पीपीई) कवरऑल की गुणवत्ता के बारे में चिंता व्यक्त की गयी है। उक्त उत्पाद, केंद्र सरकार द्वारा की जा रही खरीद के संदर्भ में प्रासंगिक नहीं है। एचएलएल लाइफकेयर लिमिटेड (एचएलएल), स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय की खरीद एजेंसी है, जो वस्त्र मंत्रालय (एमओटी) द्वारा नामित आठ प्रयोगशालाओं में से एक द्वारा कवरऑल का परीक्षण करने और अनुमोदित करने के बाद निर्माताओं / आपूर्तिकर्ताओं से पीपीई कवरऑल खरीद रही है। स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय की तकनीकी समिति (जेएमजी) द्वारा निर्धारित परीक्षण में उत्पादों के योग्य होने के बाद ही उनकी खरीद की जाती है।इसके अलावा, एचएलएल आपूर्ति किए जा रहे सामानों का नमूना भी ले रहा है और इसके लिए एक परीक्षण प्रोटोकॉल तैयार किया गया है। यदि उत्पाद गुणवत्ता के मानकों को पूरा करने में विफल रहता है तो ऐसे मामले में, कंपनी को किसी भी आपूर्ति के लिए अयोग्य घोषित किया जा रहा है। सभी राज्यों / केंद्रशासित प्रदेशों को एमओटी नामांकित प्रयोगशालाओं से पीपीई के लिए निर्धारित परीक्षण के बाद खरीद सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है। इसके अतिरिक्त, जिन निर्माताओं के उत्पादों को इन प्रयोगशालाओं से योग्य होने की अनुशंसा की गयी है, उन्हें सरकारी ई-मार्केटप्लेस (जीईएम) की सूची में जोड़ा गया है। जिन निर्माताओं के पीपीई को योग्य पाया गया है उन्हें एमओटी द्वारा जीईएम में ऑन-बोर्ड रहने की सलाह दी गई है ताकि राज्यों द्वारा खरीद की जा सके। निजी क्षेत्र के निर्माताओं की जानकारी, जिनके उत्पाद परीक्षण में योग्य घोषित किये गए हैं, एमओटी वेबसाइट पर उपलब्ध हैं।
भारत ने पीपीई और एन 95 मास्क की अपनी घरेलू उत्पादन क्षमता में काफी वृद्धि की है, और राज्यों / केंद्रशासित प्रदेशों की आवश्यकताओं को पर्याप्त रूप से पूरा किया जा रहा है। देश में प्रति दिन 3 लाख से अधिक पीपीई और एन 95 मास्क का उत्पादन हो रहा है। राज्यों / केंद्रशासित प्रदेशों के साथ-साथ केंद्रीय संस्थानों को 111.08 लाख एन -95 मास्क और लगभग 74.48 लाख व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण (पीपीई) प्रदान किए गए हैं।
इसके अतिरिक्त, पीपीई के तर्कसंगत उपयोग के लिए स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा दिशानिर्देश जारी किए गए हैं और इसे https://www.mohfw.gov.in/ पर देखा जा सकता है।
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