कानपुर नगर। कोरोना (नोवेल कोविड-19) के संक्रमण के कारण जहां लगभग पूरे विश्व में हो हल्ला मचा हुआ है। इस वायरस के संक्रमण से बचने के लिये कई तरह की सावधानियाँ जैसे-बार बार साबुन से हांथ धोना, सेनेटाइजर का प्रयोग करना, माॅस्क का उपयोग करना, छीकते-खांसते समय मुंह ढकना आदि। इसके साथ ही सरकारी विभागों में बायोमैट्रिक मशीनों से कर्मचारियों की हाजिरी लेना तक बन्द कर दिया गया है। लेकिन राशन वितरण की सरकारी दुकानों में अब भी वितरण प्रक्रिया बायोमैट्रिक मशीन के द्वारा जारी है। नाम ना छापने की शर्त पर कई दुकानदारों यानि कि कोटेदारों ने बताया कि अभीतक कोई नया आदेश नहीं प्राप्त हुआ है इस लिये राशन सामग्री का वितरण बायोमैट्रिक मशीन के द्वारा ही कर रहा हूं।
इस बावत जब एडीएम आपूर्ति से फोन पर सम्पर्क किया तो उन्होंने हैलो बोलकर काॅल को होल्डिंग मोड में कर लिया…. जब दुबारा फोन मिलाया तो उन्होंने फोन को रिसीब करना मुनासिब नहीं समझा।वहीं डीएसओ ने बताया कि उप्र के मुख्यमन्त्री जी का आदेश है कि बायोमैंट्रिक मशीन से वितरण करवाया जायेगा। कोटेदार इस दौरान सेनेटाइजर का प्रयोग करेंगे और राशन सामग्री का वितरण करेंगे क्योंकि कालाबाजारी रोकना भी जरूरी है। अब ऐसे में सवालिया निसान तो लग ही रहा है कि क्या ऐसे ही कोरोना को हराया जायेगा ?
क्या राशन वितरण करने वाली दुकानें कोरोना वायरस के प्रसार का माध्यम नहीं बन सकतीं ?
ऐसे में अगर कोरोना का संक्रमण और बढ़ गया तो इसका जिम्मेदार कौन होगा? क्या कोरोना को ऐसे ही हराया जायेगा ?