Sunday, November 24, 2024
Breaking News
Home » मुख्य समाचार » राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ का अनिश्चित कालीन धरना शुरू

राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ का अनिश्चित कालीन धरना शुरू

रायबरेली। राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ जनपद रायबरेली ने वित्त एवं लेखाधिकारी बेसिक शिक्षा तथा जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी रायबरेली के विरुद्ध अनिश्चितकालीन धरना प्रदर्शन आज दिनांक 26 जुलाई 2024 से जिलाध्यक्ष वीरेंद्र सिंह के नेतृत्व में प्रारम्भ किया।
जिलाध्यक्ष वीरेंद्र सिंह के नेतृत्व में जनपद के लगभग 1500 से अधिक शिक्षकों व शिक्षणेत्तर कार्मिकों के अवशेष देयकों का भुगतान सुनिश्चित कराने के लिए विभागीय अधिकारियों के शोषण/अन्याय/अत्याचार व संवेदनहीनता के विरुद्ध धरने को संबोधित करते हुए कहा कि मुझे पता है कि भ्रष्टाचारमुक्त व्यवस्था परिवर्तन के लिए संघर्ष का रास्ता बहुत कठिन है किंतु बेसिक शिक्षा को दीमक की तरह चटने वाले अधिकारियों पर कार्यवाही जरूरी है।
प्रदेश संगठन मंत्री शिवशंकर सिंह ने वित्त एवं लेखाधिकारी बेसिक शिक्षा द्वारा एरियर भुगतान न करना/ BEO बछरावां के अंसवैधानिक कृत्यों, शोषण, कार्यालयी भ्रष्टाचार से संबंधित विभिन्न विषयों का उल्लेख करते हुए कहा कि ऐसे अधिकारी यदि नहीं सुधरे तो शासन के साथ होने वाली आगामी बैठक में इनकी कारगुजारियों से अवगत करायेंगे।
अमावां अध्यक्ष बृजेन्द्र कुमार ने कहा कि शिक्षक/शिक्षिकाओं/शिक्षणेत्तर कार्मिकों के बकाया एरियर भुगतान लेखाधिकारी द्वारा न किया जाने तक यह धरना प्रदर्शन जारी रहेगा।
जिला संगठन मंत्री मधुकर सिंह ने अंतर्जनपदीय शिक्षकों की वार्षिक वेतन वृद्धि,डीए, बोनस बाधित वेतन का भुगतान, MRC शिक्षकों की वार्षिक वेतन वृद्धि का भुगतान आदि का विषय उठाया। आज के धरने को दिनेश प्रताप सिंह, रवीन्द्र सिंह यादव, आनन्द प्रताप सिंह, अनूप सिंह, लेखाधिकारी के संरक्षण में कार्यालयी भ्रष्टाचार के कारण शिक्षकों को होने वाली आर्थिक क्षति के उत्तरदायी लेखाधिकारी से मुक्ति पाना ही महासंघ के धरने का उद्देश्य है।
बछरावां संयोजक लोकतंत्र शुक्ल ने कहा कि जीपीएफ लेखापर्ची का वितरण समय से नहीं होने पर आक्रोश ब्यक्त किया।
महासंघ के जिलामंत्री संजय कन्नौजिया ने धरने का संचालन करते हुए कहा कि अभी यह धरना केवल जिले की संयुक्त कार्यसमिति का है ,जल्द ही धरने को बड़ा रूप देते हुए कार्यालय का घेराव करने पर विचार किया जाएगा।
इस दौरान चंद्रप्रकाश वर्मा, आलोक कुमार, राकेश गौतम, लोकतंत्र शुक्ल,रामेश्वर नाथ, राजेश कुमार, वीरेन्द्र बहादुर, हरिमोहन, जयकरण विमल यादव, पूजा गुप्ता, अखिलेश कुमारी, रानी सविता देवी, नीलिमा राय, संयोगिता श्रीवास्तव, अर्चना राव, रीना रावत, जागृति, सरिता निर्मल, निशा, संगीता, सौरभ कुमार सिंह, अनूप सिंह, ज्योति सिंह, पुष्प लता पांडे, विवेक कुमार गुप्ता, हरिवंश सिंह, सर्वेश सिंह, रविंद्र प्रताप सिंह, अशोक कुमार, दुर्गेश चंद्र, आनंद प्रताप सिंह, अनुराग प्रताप सिंह, प्रभंजन कुमार, शाश्वत बाजपेई, दिलीप पटेल, पुनीत सिंह, दुशान्त सिंह, राजीव कुमार सिंह, रणविजय सिंह चौहान, विनोद कुमार द्विवेदी, देवेश कुमार पांडे, अंकित कुमार गौतम, अमित सिंह चौहान, संजय सिंह, श्याम शंकर त्रिवेदी, कृष्ण पाल सिंह, राजेंद्र प्रसाद वर्मा, देवेश प्रकाश, राजीव गौतम, राजेन्द्र प्रसाद शर्मा आदि सैकड़ों शिक्षक/शिक्षिकाएं मौजूद रहीं।