Monday, April 29, 2024
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बुन्देलखण्ड में रु. 5-5 करोड़ की धनराशि का उपयोग कराने हेतु विस्तृत कार्य योजना एक सप्ताह के भीतर बनाकर आवश्यक कार्य गुणवत्ता के साथ प्रारम्भ करा दिये जायेंः मुख्य सचिव

लखनऊः जन सामना ब्यूरो। उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव श्री राजीव कुमार ने निर्देश दिये हैं कि बुन्देलखण्ड निधि के अन्तर्गत प्रत्येक जनपद को निर्गत रु. 5-5 करोड़ की धनराशि का उपयोग पारदर्शिता के साथ सुनिश्चित कराने हेतु विस्तृत कार्य योजना हर हाल में एक सप्ताह के भीतर बनाकर आवश्यक कार्य गुणवत्ता के साथ प्रारम्भ करा दिये जायें। उन्होंने निर्देश दिये कि बुन्देलखण्ड के समस्त जिलाधिकारी अपने जनपद में सिंचाई एवं पेयजल के नलकूपों की क्रियाशीलता प्रत्येक दशा में सुनिश्चित कराते हुये सम्बन्धित अभियन्ताओं से क्रियाशीलता के सम्बन्ध में प्रमाण-पत्र अवश्य प्राप्त कर लें। उन्होंने कहा कि सम्बन्धित अभियन्ताओं द्वारा सिंचाई एवं पेयजल नलकूपों की क्रियाशीलता हेतु दिये गये प्रमाण-पत्रों का रैन्डम जांच अवश्य सुनिश्चित करा लें। उन्होंने यह भी निर्देश दिये कि बन्द पड़े पाइप पेयजल योजनाओं को यथाशीघ्र प्रारम्भ कराया जाये। उन्होंने यह भी निर्देश दिये कि निर्माणाधीन परियोजनाओं में 80 प्रतिशत तक पूर्ण हो चुके कार्यों की नियमित समीक्षा कर परियोजनाओं को शत-प्रतिशत पूर्ण कराते हुये जनोपयोगी बनाया जाये।  मुख्य सचिव आज योजना भवन स्थित वीडियोकान्फ्रेन्सिंग कक्ष में बुन्देलखण्ड के मण्डलायुक्तों एवं जिलाधिकारियों को संभावित सूखे से निपटने हेतु आवश्यक निर्देश दे रहे थे। उन्होंने यह भी निर्देश दिये कि प्रत्येक 15 दिन में वीडियोकान्फ्रेन्सिंग में मण्डलायुक्तों एवं जिलाधिकारियों द्वारा सूखे से निपटने हेतु की जा रही तैयारियों की नियमित समीक्षा मुख्य सचिव स्तर से की जायेगी। उन्होंने कहा कि सभी जनपदों में जिलाधिकारियों के निवर्तन पर क्रिटिकल गैप्स हेतु रु. 01-01 करोड़ की धनराशि रखी गयी है जिसका उपयोग आवश्यकतानुसार आवश्यक कार्यों हेतु कर जनपदीय स्तरीय समस्याओं का समाधान यथाशीघ्र सुनिश्चित कराया जा सकता है। उन्होंने कहा कि बुन्देलखण्ड में पेयजल सहित अन्य आवश्यक समस्याओं का समाधान यथाशीघ्र कराने हेतु मण्डलायुक्तों को प्रत्येक सप्ताह एवं सम्बन्धित जिलाधिकारियों को प्रत्येक दिन कम से कम 30 मिनट सम्बन्धित अधिकारियों के साथ बैठक करना अनिवार्य होगा। उन्होंने कहा कि शासन स्तर पर समस्याओं का निराकरण कराने की स्थिति पर तत्काल आवश्यक जानकारी उपलब्ध कराते हुये मुख्य सचिव सहित अन्य सम्बन्धित वरिष्ठ अधिकारियों से दूरभाष पर अनुरोध किया जाये। श्री राजीव कुमार ने निर्देश दिये हैं कि बुन्देलखण्ड में संभावित सूखे को दृष्टिगत रखते हुये मृृदा में नमी संरक्षण के उपायों का विभिन्न माध्यमों से व्यापक प्रचार-प्रसार कराया जाये। उन्होंने कहा कि वैकल्पिक फसलों के साथ खाद्य एवं बीज की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित कराने के साथ-साथ फसलों में रोग से बचाव हेतु कीटनाशक दवाओं की समुचित व्यवस्था सुनिश्चित कराई जाये। उन्होंने निर्देश दिये कि सिंचाई के सभी संसाधनोंध्सरकारी नलकूपों को चालू स्थिति में रखा जाये। उन्होंने कहा कि नहरों को रोस्टर के अनुसार चलाये जाने के साथ-साथ नहरों के अवैध कटान पर कड़ी निगरानी रखी जाये। उन्होंने कहा कि खराब नलकूपों की समय से मरम्मत सुनिश्चित कराये जाने के साथ-साथ पशुओं के पेयजल हेतु सिंचाई विभाग की नहरों एवं नलकूपों के माध्यम से तालाब एवं पोखरों को भरवाने की व्यवस्था सुनिश्चित कराई जाये।  मुख्य सचिव ने निर्देश दिये कि खराब ट्रान्सफार्मरों को अनिवार्य रूप से 24 घन्टे में बदला जाना सुनिश्चित कराया जाये। उन्होंने कहा कि रोस्टर के अनुसार विशेष कर ग्रामीण क्षेत्रों में निर्बाध विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित कराई जाये। उन्होंने निर्देश दिये कि पेयजल के सभी स्रोतों एवं संसाधनों की उचित मरम्मत सुनिश्चित कराई जाये ताकि आवश्यकतानुसार उनको उपयोग में लाया जा सके। उन्होंने कहा कि पेयजल के कुंओं को आवश्यकतानुसार गहरा करा लिया जाये। उन्होंने निर्देश दिये कि युद्ध स्तर पर अभियान चलाकर अपूर्ण पेयजल योजनाओं को पूर्ण कराकर 30 दिसम्बर, 2017 तक प्रारम्भ कराया जाये।   बैठक में अपर मुख्य सचिव, नियोजन संजीव सरन, प्रमुख सचिव, कृषि अमित मोहन प्रसाद, प्रमुख सचिव, राजस्व डाॅ0 रजनीश दुबे, प्रमुख सचिव, खाद्य एवं रसद निवेदिता शुक्ला वर्मा, प्रमुख सचिव, सिंचाई सुरेश चन्द्रा सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारीगण उपस्थित थे।