रायबरेलीः जन सामना ब्यूरो। दिव्यांग व कुष्ठ प्रभावित सैकड़ो विकलांगो ने विश्व दिव्यांग दिवस पर अपनी 20 मांगों को लेकर विकास भवन परिसर में एक जनसभा व रैली का आयोजन किया साथ ही अपनी मांगों का जिलाधिकारी के माध्यम से मा0 मुख्यमंत्री को ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन में कहा कि उनकी मांगो पर सहानुभूति पूर्वक विचार करते हुए अति शीघ्र पूरा करने की कार्यवाही सुनिश्चित की जाय अन्यथा राष्ट्रीय विकलांग महासभा के बैनर तले गाँव से लेकर विधान सभा तक अपनी माँगो को पूरा करने हेतु सड़को पर उतरने को मजबूर होंगे। ज्ञापन के माध्यम से अवगत कराया गया की स्वतंत्रता के 6 दशकों के बाद भी भारतवर्ष में दिव्यांग एवं कुष्ठरोग प्रभावित लोगों की दुर्दशा गुलामों से भी बदतर है इन दिव्यांग जनों को जो सजा पहले से मिली है उससे कहीं ज्यादा आज का समाज व प्रशाशन दे रहा है। प्रशाशन में व्याप्त भ्रष्टाचार के कारण दिव्यांग जनों को मिलने वाली सरकारी योजनाओं का लाभ नहीं मिल पाता है जब कोई दिव्यांग अपनी फरियाद लेकर किसी अधिकारी के पास जाता है तो उसे सुविधा शुल्क की मांग की जाती है सुविधा शुल्क ना देने पर उसे डांट कर भगा दिया जाता है जिससे वह थक हार कर भीख मांगने को मजबूर हो जाता है अथवा गरीबी और भुखमरी के कारण आत्महत्या करने के लिए मजबूर हो जाता है। जन सभा में दिव्यांगों की अन्य समस्याएं उभर करसामने आई जिनके निराकरण हेतु दिव्यांग महासभा द्वारा अग्रलिखित 20 सूत्रीय मांगों को लेकर ज्ञापन सौंपा गया और सहानुभूति पूर्वक विचार करते हुए अतिशीघ्र पूरा करने की कार्रवाई सुनिश्चित करने की मांग की गई है। जिसकी जिम्मेदारी सरकार की होगी। इस मौके पर राष्ट्रीय विकलांग महासभा के अध्यक्ष अरबिंद बघौला, प्रदेश अध्यक्ष हकीक उल्ला, महासचिव रामचंद्र गौतम, सहित दि लेप्रोसी मिशन ट्रस्ट इंडिया(क्रिएट प्रोजेक्ट) के सीडीओ शीतल प्रसाद के अलावा सैकड़ो विकलांग मौजूद रहे।