⇒पुलिसकर्मियों को मिले भयमुक्त होकर कार्य करने का निर्देश
कानपुरः जन सामना संवाददाता। कोरोना (कोविड-19) वायरस का प्रभाव व प्रकोप पूरे देश में दिखने लगा है। राज्य सरकारें भी अपने अपने स्तर से इससे बचाव हेतु तमाम प्रयास कर रहीं हैं। केन्द्र सरकार ने 21 दिनों का लाॅक डाउन पूरे देश में घोषित कर रखा है।
कोरोना से बचाव हेतु जिले स्तर पर भी उच्चाधिकारी लाॅक डाउन का पालन करवाने पर जोर दे रहे हैं। स्थानीय स्तर पर पुलिस को लाॅक डाउन का पालन करवाने की जिम्मेदारी दी गई हैं। पुलिस के जवान पूरी तत्परता के साथ अपनी ड्यूटी तो कर रहे हैं लेकिन लाॅक डाउन का पालन करवाने में झिझकते दिख जाते हैं। इसका कारण यह है कि पुलिस कर्मी अगर जरा भी सख्ती करने का प्रयास करते हैं तो कहीं ना कहीं कोई चोरी छिपे उनका वीडियो या फोटो बना लेता है। इसके बाद उस वीडियो या फोटो को व्हाट्सअप सहित अन्य सोशल साइट्स पर डाल देते हैं। यह वीडियो या फोटो जैसे ही पुलिस विभाग के उच्चाधिकारियों के पास पहुंचते हैं फौरन पुलिस के जवानों पर कार्रवाही होना तय हो जाती है। कार्रवाही का यह डर पुलिसकर्मियों पर साफ दिखता है और इसी का फायदा लोग उठा रहे हैं। शहर के सीमावर्ती इलाकों में काफी संख्या में लोग कतई मानने को तैयार नहीं है और कोई ना कोई बहाना लेकर लाॅक डाउन तोड़ने निकल पड़ते हैं। इन लोगों में ना कोरोना का भय दिख रहा है और ना ही पुलिस का।
अब ऐसे में सवाल यह उठता है अगर पुलिसकर्मी भय के साये में काम करेंगे तो लाॅक डाउन का पालन ठीक से कैसे होगा ?
लाॅक डाउन का पालन अगर वास्तव में करवाने की मंशा उच्चाधिकारियों की है तो ऐसे माहौल में स्थानीय पुलिसकर्मियों को पूरी छूट मिलनी चाहिये और भयमुक्त होकर कार्य करने का निर्देश जारी होना चाहिये अन्यथा लाॅक डाउन का पालन महज एक औपचारिकता ही दिखता रहेगा। लोग कोई ना कोई बहाना करके अथवा हनक का सहारा लेकर डाउन का उल्लंघन करते ही रहेंगे।
बताते चलें कि बर्रा थाना क्षेत्र के बर्रा-8 स्थित राम गोपाल चैराहे पर सोमवार को तमाम लोग ऐसे दिखे जो कोई ना कोई बहाना बनाकर अथवा रौब दिखाकर अपने अपने घरों से निकलकर लाॅक डाउन का उल्लंघन करते दिखे और पुलिसकर्मी सिर्फ समझाते नजर आये।
इस दौरान पुलिसकर्मियों में अपने उच्चाधिकारियों का भय स्पष्ट दिखा और लोग इसी का फायदा उठाते दिखे।
इस चैराहे पर तीन से चार सवारियां दुपहिया वाहनों में सवार दिखी तो कई लोग यातायात के नियमों का उल्लंघन भी करते दिखे। हालांकि यातायात का उल्लंघन करने वालों का चालान किया गया किन्तु लाॅक डाउन का उल्लंघन करने वालों को समझाया गया और भविष्य में ऐसा ना करने की चेतावनी देकर छोड़ दिया गया।