कानपुर देहात, जन सामना संवाददाता। जनपद कानपुर देहात को कुपोषित जिला घोषित किया गया है। जनपद में 0 से 5 साल के बच्चे व ग्रामीण महिलाएं विशेष रुप से कुपोषित है। कुपोषण के कारण बच्चों का वजन कम होना उम्र के हिसाब से लंबाई कम होना या वजन के हिसाब से लंबाई कम पाई गई है। यह बच्चों में कैल्शियम, आयरन व जिंक की कमी से होता है तथा महिलाओं में ज्यादातर आयरन की कमी से एनीमिया होता है।
जनपद में कुपोषण की इस समस्या को दूर करने हेतु चंद्रशेखर आजाद कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय कानपुर के कृषि विज्ञान केंद्र दलीप नगर ने विशेष पहल की है। केवीके ने अपने प्रक्षेत्र पर बायोफोर्टीफाइड पोषक तत्व प्रधान फसलों का बगीचा लगाया है। जिसमें वर्ष भर में 100 से ज्यादा पोषक तत्व प्रधान प्रजातियां लगाई जा रही हैं। यह कृषकों के आकर्षण का केंद्र बना हुआ है। केवीके ने महामहिम राष्ट्रपति जी के गाँव परौख में भी पोषक तत्व प्रधान फसलों की पोषक ग्रह वाटिका विकसित की है। राष्ट्रपति जी के गांव परोख के आसपास के गांवों में भी पोषक वाटिका विकसित की गई है। केवीके द्वारा जनपद कानपुर देहात में 22 कृषकों के यहां पोषण वाटिका विकसित की है और जनपद के सभी ब्लॉकों में 4—4 गृहवाटिका विकसित करने की योजना है। यह कार्य चंद्रशेखर आजाद कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉo डी. आर. सिंह के निर्देशन में केवीके दलीप नगर द्वारा कराया जा रहा है। केवीके के अध्यक्ष डॉo अशोक कुमार केंद्र पर आने वाले सभी आगंतुकों को एक मोरिंगा का पौधा अवश्य देते हैं। मोरिंगा का कुपोषण दूर करने में विशेष योगदान है।