ऊंचाहार/रायबरेली,पवन कुमार गुप्ता। विधान सभा चुनाव अपने चरम पर पहुंच रहा है। दिन ब दिन गांव – गांव में मतदाताओं में भी लामबंदी शुरू हो गई है। सत्ता व स्थानीय विधायक के विरोधी मतों का बसपा के पक्ष में ध्रुवीकरण ने हाथी की रफ्तार को तो बढ़ा दिया है, किन्तु भाजपा व कांग्रेस की सेंधमारी भी शुरू हो चुकी है। जिससे मुकाबला दिलचस्प होता जा रहा है। ऊंचाहार में जब चुनाव शुरू हुआ था, तब सपा के मुकाबले कोई पार्टी नजर नहीं आती थी। किन्तु ज्यों ज्यों चुनाव चढ़ रहा है, त्यों त्यों परिस्थितियां बदलती जा रही है। जातीय व स्थानीय समीकरण ने चुनाव को दिलचस्प बना दिया है। इस बीच मौर्य व दलित मतों का ध्रुवीकरण शुरू हो गया है। इसी के साथ सपा विरोधी मतों का बसपा के पक्ष में पलायन शुरू हो गया है। जिससे हाथी की रफ्तार बढ़ी है। आज की तारीख में मुकाबला बसपा व सपा के मध्य बनता नजर आ रहा है। किन्तु भाजपा ने भी काफी दम भरा है। भाजपा उम्मीदवार अमर पाल मौर्य के समर्थन में क्षेत्र के कई बड़े चेहरे मैदान में आ गए है , जिससे भाजपा द्वारा दूसरे दलों में सेंधमारी शुरू हुई है। उधर कांग्रेस उम्मीदवार अतुल सिंह ने जगतपुर क्षेत्र में सपा के परंपरागत वोटों में सेंध लगाने से सपा को कई मोर्चों पर चुनौती का सामना करना पड़ रहा है। बसपा उम्मीदवार अंजली मौर्या का दलित वोटों पर काफी प्रभाव दिखाई दे रहा है। साथ ही भाजपा से मौर्य उम्मीदवार बाहरी होने के लाभ उनकी अपनी बिरादरी में मिल रहा है। जबकि सपा उम्मीदवार मनोज पांडेय से पार्टी के परंपरागत यादव मतदाताओं में नाराजगी काफी भारी पड़ रही है। क्षेत्र में राजनैतिक हालात दिन ब दिन बदल रहे है। ऐसे में ऊंट किस करवट बैठेगा ? यह कहना जल्दबाजी होगी। किन्तु मुकाबला दो दलों सपा व बसपा के बीच सिमटता नजर आ रहा है ।
Home » मुख्य समाचार » विरोधी मतों के ध्रुवीकरण से बढ़ रही हांथी की रफ्तार,भाजपा व कांग्रेस में सेंधमारी की आजमाइश