Monday, November 18, 2024
Breaking News
Home » मुख्य समाचार » मास्क न पहनने पर नहीं मिला प्रवेश, एक साथ पांच लोग ने ही नमाज अदा की

मास्क न पहनने पर नहीं मिला प्रवेश, एक साथ पांच लोग ने ही नमाज अदा की

शिवली/कानपुर देहात, जितेन्द्र सविता। मैथा तहसील क्षेत्र के मस्जिदों में कोरोना वायरस के कारण ईद उल-अज़हा पर सोशल डिस्टेंस का ख्याल रखते हुए ही की गई नमाज़ अदा। मास्क न पहनने वालो को नहीं मिला मस्जिदों में प्रवेश की इजाजत। मास्क पहनकर आने पर मिल सका प्रवेश। वही उपजिलाधिकारी मैथा सहित पुलिस बल तैनात रहा। नगर पंचायत ईओ ने मौके पर मौजूद रहकर कर्मचारियों से मस्जिदों के आस-पास सैनेटाइज कराया। आपको बता दे कि हमारे देश में विभिन्न जाति, धर्म के लोग निवास करते हैं। पूरे वर्ष भर विभिन्न त्योहारों को हम सब बहुत ही हर्ष और उल्लास के साथ मिल-जुल कर मनाते हैं। उन्ही त्योहारों में से एक है, ईद उल-अज़हा। जिसे हम विभिन्न नामों से भी जानते हैं, ईद उल-जुहा, ईद उल-अज़हा और बकरीद यह इस्लाम धर्म का एक प्रमुख त्योहार है जिसे पूरी दुनिया भर के लोग मनाते हैं। यह त्योहार विशेष तौर पर अभिवादन करने, लोगों से मिलने जुलने और प्रार्थना करने का त्योहार है। मस्जिद में मौलाना नूर मोहम्मद ने सभी मुस्लिम भाईयो से अपील की सभी सोशल डिस्टेंस का पालन करते हुए व मास्क पहन कर ही नमाज़ अदा करें। एक साथ पांच लोग ही नमाज अदा करें। सरकार के नियमो का ख़्याल रखते हुए ही पर्व शांति के साथ मनाया जाए। उपजिलाधिकारी ने कोरोना पॉजीटिव मरीज मिलने वाले इलाके का भी निरीक्षण किया। वही समय-समय पर सैनेटाइज करने के निर्देश दिए। प्रशासन ने मुस्लिम समुदाय से बड़े ही प्यार व स्नेह के साथ शांति से पर्व मनाने की अपील की। साथ ही मुस्लिम समुदाय को मुबारक़ बाद दी। कोरोना पॉजिटिव मरीज मिलने के कारण कुछ जगह को सील कर रखा गया है उस जगह लोगों को घर पर ही नमाज़ अदा करने की प्रशासन द्वारा अपील की गई। उपजिलाधिकारी रामशिरोमणि ने बताया की सभी जगह शांति के साथ ईद उल जुहा का त्योहार मनाया गया साथ ही मस्जिदों के आस पास सैनेटाइज व साफ-सफाई के आदेश ईओ एम एल गौतम को दिए थे मौके पर निरीक्षण किया तो कार्य सन्तुष्ट पाया गया। इस मौके पर उपजिलाधिकारी राम शिरोमणि, कोतवाल वीर पाल सिंह तोमर, कस्बा इंचार्ज सत्यपाल, अधिशाषी अधिकारी महि लाल गौतम, अवनीश शुक्ल, अमन पाठक, राधा रमण, मोहित अवस्थी, अमित, इरफ़ान, रियाज़, सैफ़, आफताब, निशार, छोटू, शोएब आदि लोग मौजूद रहे।