अनामिका, पूनम, रेखा और संगम हुईं सम्मानित, पोषण में बेहतर कार्य करने के बदले मिला पुरस्कार
महिला एवं बाल विकास मंत्रालय ने किया सम्मानित, टीम को प्रशस्ति पत्र के साथ 2 लाख रुपए दिये गए
कानपुर नगर, जन सामना ब्यूरो। केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री स्मृति ईरानी ने पोषण विषय पर बेहतर कार्य करने वाले कानपुर जिले के चार लोगों को नई दिल्ली में शुक्रवार को पुरस्कृत किया। राष्ट्रीय स्तर पुरस्कार से सम्मानित होने वाले सदस्यों में विकासखण्ड विधनू के आंगनबाडी केन्द्र मगरासा द्वितीय की AAA व मुख्य सेविका की टीम है।
जिला कार्यक्रम अधिकारी, मोहम्मद जफ़र खां ने बताया कि जिलाधिकारी कानपुर के निर्देश एवं मुख्य विकास अधिकारी कानपुर नगर के मार्गदर्शन में दिसम्बर 18 में विधनू परियोजना को सुपोषित परियोजना बनाने का संकल्प लिया गया। साथ ही यह भी निर्णय लिया गया कि परियोजना में लाल बच्चों की संख्या शून्य और कुपोषित बच्चों की संख्या में 90 प्रतिशत की गिरावत लानी है। इसी क्रम में भारत सरकार के दिशा-निर्देश के अनुरूप मार्च 2019 तक पोषण के लिए उल्लेखनीय कार्य करने वालों का मूल्यांकन किया गया। इस क्रम में विकासखण्ड बिधनू आंगनबाड़ी केन्द्र मगरासा द्वितीय की AAA व मुख्य सेविका की टीम ने सफलता हासिल की। जिसमें अनामिका देवी मुख्य सेविका, पूनम अवस्थी आंगबाडी कार्यकत्री, रेखा पाण्डेय एएनएम व संगम साहू आशा शामिल हैं। इन चारों सदस्यों को शुक्रवार को नई दिल्ली के होटल अशोका में भारत सरकार की तरफ से प्रति व्यक्ति 50 हजार रुपये इन्सेन्टिव पुरस्कार और प्रशस्ति पत्र दिया गया।
मगरासा को ऐसे मिली उपलब्धि
ग्राम मगरासा कानपुर नगर से करीब 15 किमी0 की दूरी पर है। विंधनू की बाल विकास परियोजना अधिकारी रतना के अनुसार इस वर्ष फरवरी में यहां कुल 31 बच्चे कुपोषित श्रेणी में चिन्हित किये गये। बीते तीन माह में काफी प्रयास के बाद अब 17 बच्चे सामान्य श्रेणी में आ चुके हैं। यहां लगभग 60 प्रतिशत सुधार आया है। हालांकि 14 बच्चे अभी भी आंशिक कुपोषित श्रेणी में हैं। रतना ने बताया कि फरवरी से अबतक 14 वीएचएसएनडी दिवसों का आयोजन किया गया है। इस दौरान बच्चों का वजन/टीकाकरण एवं गर्भवती महिलाओं की स्वास्थ्य जांच भी की गयी। आंगनबाडी कार्यकत्री द्वारा केन्द्र पर नियमित रूप से विभागीय गतिविधियों यथा बचपन दिवस, ममता दिवस, लाडली दिवस, गोदभराई, अन्नप्राशन, सुपोषण मेला, हैण्डवाशिंग डे आदि का आयोजन किया जा रहा है। उन्होने बताया चिन्हित 31 कुपोषित बच्चों के अभिभावकों साग नियमित बैठक कर उन्हें बच्चों के खान-पान पर विशेष ध्यान देने व उनके स्वास्थ्य के विषय में भी ध्यान देने हेतु जागरूक किया गया। कुपोषित बच्चों की नियमित स्वास्थ्य जांच कराते हुये उन्हें आवश्यकतानुसार निःशुल्क दवाओं का वितरण स्वास्थ्य विभाग के सहयोग से किया गया।