Sunday, May 19, 2024
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मुख्य विकास अधिकारी ने निर्माणाधीन राजकीय आश्रम पद्यति विद्यालय का किया निरीक्षण

⇒अधूरे कार्य देख मुख्य विकास अधिकारी का हुआ पारा गरम, अवर अभियंता को कठोर चेतवानी देते हुए कारण बताओ नोटिस जारी किये जाने के दिए निर्देश
⇒मुख्य भवन (ऐकेडमिक भवन) को अतिशीघ्र पूर्ण करते हुए, विद्यालय का शीघ्र ही किया जाए संचालन, अन्यथा की जायेगी कठोर कार्यवाही-मुख्य विकास अधिकारी
कानपुर देहात। मुख्य विकास अधिकारी सौम्या पांडेय ने विकास खण्ड सरवनखेड़ा में निर्माणाधीन राज्यकीय आश्रम पद्यति विद्यालय का औचक निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान निर्माण एजेन्सी के अवर अभियन्ता राघवेन्द्र दीक्षित उपस्थित थे। उन्होंने मुख्य विकास विकास अधिकारी को निर्माण कार्य की प्रगति के बारे में अवगत कराया कि ब्लॉक का कार्य फिनिशिंग स्तर पर ब्लॉक का कार्य भूमि स्थल पर छत तक, मेन बिल्डिंग का प्रथम तल छत स्तर तक तक पूर्ण हुआ है जिस पर मुख्य विकास अधिकारी ने अवर अभियंता को निर्देश दिए कि यह मार्च 2023 तक पूर्ण करवाते हुए संचालित कराया जाना था परन्तु उक्त कार्य अभी तक पूर्ण नहीं कराया गया। उन्होंने कहा कि कार्य पूर्ण न होने से बच्चों की पढाई भी बाधित होगी। उन्होंने अवर अभियंता से इस सम्बन्धत में स्पष्टीकरण तलब करते हुए चेतावनी जारी किये जाने के निर्देश दिए। इस प्रोजेक्ट की स्वीकृति लागत 2415.716 लाख के सापेक्ष वर्तमान में निगम को 1216.28 लाख धन प्राप्त हुआ है धन के अभाव के कारण प्रगति धीमी है, के सम्बन्ध में मुख्य विकास अधिकारी द्वारा दूरभाष पर निगम के प्रबन्धक से वार्ता करने पर जानकारी दी गई कि शासन से 483.00 लाख स्वीकृति हो चुका है। कार्य की प्रगति अतिशींघ्र बढ़ा दी जायेगी।
मुख्य विकास अधिकारी द्वारा यह निर्देश दिये गये कि धनराशि प्राप्त होते ही प्राथमिकता के आधार पर मुख्य भवन (ऐकेडमिक भवन) को अतिशीघ्र पूर्ण कराया जाये, जिससे माह जुलाई 2023 में शिक्षण कार्य प्रारम्भ किया जा सके। इसके अतिरिक्त दीक्षित द्वारा बताया गया कि साईट के चाहरदीवारी के निकट एक नाला है, जोकि चोक है तथा इसकी सफाई एवं गहराई बढ़ाना आवश्यक है, जिससे निर्माणाधीन साईट का बेस्ट वाटर इस नाले की तरफ निकासित किया जा सके जिस पर मुख्य विकास अधिकारी द्वारा निर्देश दिए गए कि उक्त को कार्य को प्राथमिकता के आधार पर पूर्ण किया जाए इसमें किसी भी प्रकार की लापरवाही न बरती जाए। उन्होंने जिला समाज कल्याण अधिकारी एवं अवर अभियन्ता को निर्देश दिए कि कराये जा रहे कार्यों की गुणवता की जांच एचबीटीआई से कराई जाए।