Wednesday, June 19, 2024
Breaking News
Home » मुख्य समाचार » विकास के लिए आने वाली धनराशि आपकी कमाई का साधन नहीं होनी चाहिएः जिलाधिकारी

विकास के लिए आने वाली धनराशि आपकी कमाई का साधन नहीं होनी चाहिएः जिलाधिकारी

कानपुर देहात। भूजल सप्ताह के अन्तर्गत जल संरक्षण पर जनमानस को जागरुक करने के उद्देश्य से जिलाधिकारी नेहा जैन व मुख्य विकास अधिकारी लक्ष्मी एन0 ने सामुदायिक भवन इको पार्क में कार्यक्रम का दीप प्रज्वलित कर शुभारंभ किया। उन्होनें सभी को जलदोहन न करने एवं जल के महत्व को समझने व अपने स्तर से ग्राम चौपाल में भी सभी को जागरूक करने के निर्देश दिए। उन्होनें सभी ग्राम प्रधानों को वृक्षारोपण हेतु पौधे उठाने हेतु निर्देशित किया जिसमें सभी द्वारा बताया गया कि अभी तक 50 प्रतिशत उठान ही किया गया है। उन्होंने सभी को गड्ढे खुदाने एवं वृक्षारोपण हेतु समस्त प्रबंध सुनिश्चित किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि पर्यावरण संरक्षण हेतु जितना महत्व पेड़ पौधों का है उतना ही महत्व जल संयोजन का भी है जिसके लिए आवश्यक है कि हम सभी अभी से जल संचयन व वृक्षारोपण हेतु सम्मिलित प्रयास कर अपने कल को सुधारें एवं आने वाली पीढ़ी को सुरक्षित व स्वच्छ वातावरण दें। उन्होंने महात्मा गांधी के कथन देश का विकास गाँव से प्रारंभ होता है को सबके समक्ष रखते हुए कहा कि गांव के जीर्णाेद्धार हेतु आप प्रमुख बिंदु हैं, गांव के विकास हेतु आपके द्वारा किये गए प्रयास देश को आगे बढ़ाने में सहयोगी है। उन्होंने कहा कि विकास के लिए आने वाली धनराशि आपकी कमाई का साधन नहीं होनी चाहिए। उन्होंने समस्त ग्राम प्रधानों को संबोधित करते हुए कहा कि ग्राम में युवक व महिला मंगल दलों को सक्रिय किया जाए तथा जिला युवा कल्याण अधिकारी को उनके मध्य किट वितरण शत-प्रतिशत सुनिश्चित किया जाए। प्रधान अपनी शक्तियों को पहचानते हुए अपने ग्राम को एक आदर्श रूप में स्थापित करें। उन्होंने मुख्य विकास अधिकारी को 20 लाख से ऊपर की धनराशि से बनाए जा रहे अमृत सरोवरों की प्रथक से जांच कराए जाने एवं एनआरएलएम के अंतर्गत देहाती मार्ट समूहों की दुकानों के संचालन को पुनः सत्यापित कराये जाने के निर्देश दिए। उन्होंने मुख्य विकास अधिकारी को निर्देशित किया कि जिन्हें स्थानों पर पंचायत सहायकों का चयन अभी तक नहीं हुआ है उन स्थानों पर चयन प्रक्रिया पूर्ण करते हुए पंचायत सहायको की उपस्थिति सुनिश्चित कराई जाए। इस दौरान मुख्य विकास अधिकारी द्वारा भी ग्राम प्रधानों की समस्याएं सुनी गयीं एवं सभी को यह स्पष्ट किया गया कि किसी भी प्रकार की समस्या मिलने पर अथवा किसी भी अधिकारी से समस्या होने पर आप सभी सीधा संपर्क कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि बिना भेदभाव के जनता को लाभ दें। आप पहल करें तभी आगे आपको निर्वाचन में लाभ मिलेगा। उन्होंने सभी को स्पष्ट किया कि ग्रामीण स्तर पर रिट्रोफिटिंग कायाकल्प आदि कार्यों के संचालन में तत्परता से कार्य करें और अपने ग्राम को आदर्श बनाने हेतु सचिवालय, आंगनवाड़ी तथा विद्यालय का सुचारू रूप से संचालन सुनिश्चित करें। उन्होंने जिला पंचायत राज अधिकारी को सभी ग्राम प्रधानों को व्हाट्सएप के माध्यम से जोड़े जाने तथा उनके द्वारा की जाने वाली शिकायतों को प्राथमिकता पर निस्तारित किए जाने के निर्देश दिए। तदोपरान्त जिलाधिकारी द्वारा सभी को जल शपथ दिलाई गई कि मैं पानी बचाने और उसके विवेक पूर्ण उपयोग की शपथ लेता हूँ। मैं यह भी शपथ लेता हूँ कि मैं जल का समुचित उपयोग करूँगा तथा पानी की हर एक बूंद का संचयन करूँगा और श्कैच द रेनश् अभियान को बढ़ावा देने में पूरा सहयोग दूंगा। मैं पानी को एक अनमोल संपदा मानूँगा और ऐसा मानते हुए ही इसका उपयोग करूँगा। मैं शपथ लेता हूँ कि मैं अपने परिवारजनों, मित्रों और पड़ोसियों को भी इसके विवेकपूर्ण उपयोग और उसे व्यर्थ नहीं करने के लिए प्रेरित करूँगा। यह ग्रह हमारा है और हम ही इसे बचा सकते हैं और अपना भविष्य सुरक्षित कर सकते हैं तथा सड़क सुरक्षा हेतु शपथ भी दिलाई गई कि ष्हम सड़क पर सदैव यातायात नियमों का पालन करेगें तथा सुरक्षित यात्रा हेतु सदैव दो पहिया वाहन चलाते समय स्वयं व पीछे बैठे व्यक्ति को ठप्पे मानक वाले हेलमेट अवश्य पहनेंगे व पहनायेंगे, चार पहिया वाहन चलाते समय हमेशा सीट बेल्ट लगायेगें, लेन ड्राइविंग के नियमों का पालन करेगें, तेज रफ्तार से वाहन नही चलायेगें, गलत दिशा में वाहन नही चलायेगें, वाहन चलाते समय मोबाइल फोन का प्रयोग नही करेगें, शराब पीकर व नशे की हालत में वाहन नही चलायेगें, सड़क दुर्घटना में घायल व्यक्तियों मदद हेतु सदैव तत्पर रहेगें एवं घर पर बच्चे इन्तजार कर रहे हैं। अतः सदैव सुरक्षित व सावधानी से वाहन चलाऊगा।इस अवसर पर उन्होनें भूजल सप्ताह की थीम ष्यह संकल्प निभाना है, हर एक बूंद बचाना हैष् पर आधारित जागरूकता हेतु प्रचार वाहन को हरी झण्डी दिखाकर रवाना किया गया। इस मौके पर अन्य विभागों द्वारा भी कार्यक्रम में प्रतिभाग किया गया तथा जल की उपयोगिता तथा जल की एक एक बूंद को संरक्षित करने हेतु विस्तार से चर्चा की गई।