चकिया/चन्दौली,जन सामना। यूएनएफपीए,आरईसी फाउंडेशन, कम्युटिनी .द यूथ कलेक्टिव और ये एक सोच फाउंडेशन अपने साथी संस्थाओं के साथ बी ए जागरिक (Be a Jagrik) प्रोजेक्ट के दूसरे चरण मे कार्य कर रहे हैं जिसके अंतर्गत आज रविवार को चकिया क्षेत्र के शिकारगंज में युवाओं के साथ जमघट का आयोजन किया गया। जिसमें ग्राम्या संस्थान की नीतू सिंह ने बताया कि आज के मीटिंग में आप लोगों द्वारा जो कार्यक्रम तय किया गया है। उसमें से कितना हो पाया है। जिसपर जागरिको द्वारा बताया गया कि इस दिसम्बर माह में स्कूल में खुली बैठक करके smc सदस्यों का चयन किया जाना था। जिन 10 गांव में हम लोग काम कर रहे। उसमे से सिर्फ शिकारगंज में खुली बैठक करके smc का चयन किया गया है। बाकी 9 गांव में समुदाय के लोगों को बिना बताए smc का चयन कर दिया गया है। स्वास्थ्य विभाग द्वारा vhnd मनाया जाता है। जहाँ पर गर्भवती महिलाओं को टिका लगता है। किशोरियों को आयरन को गोली नही दी जाती है। छड द्वारा कहा जाता है कि किशोरियों के लिये आरन की गोली नही आती है। साथ ही हेतिमपुर के जागरिकों के द्वारा बताया गया कि नेवाजगंज उपकेंद्र पर प्रसव करने पर पैसा लिया जाता है| लड़का होने पर 1000 और लड़की होने पर 500 से 700 जो देने के लिए तैयार होता हैं ।उसकी डिलेवरी होती है। अन्यथा चकिया रेफर कर दिया जाता है। युवाओं की शक्ति को पोषण और पोषित करने और उन्हें इस क्षमता को महसूस करने में सक्षम करने की जरूरत इससे पहले कभी नहीं रही। जितनी आज महामारी की चपेट में आई बदलती दुनिया में महसूस हो रही है। युवा इन परिवर्तनों के प्रति अधिक संवेदनशील हैं। समान रूप से महत्वपूर्ण बात यह है कि उनके पास अपने और अपने समुदायों के लिए बेहतर जीवन विकल्पों तक पहुंचने का आदर्शवाद ऊर्जा और संसाधन भी मौजूद है। आजए युवाओं के बीच नेतृत्व का निर्माण करने के उद्देश्य से ‘जागरूक नागरिक बनिए’ यह (Be a Jagrik) का दूसरा चरण एक पहल है। जो सही अर्थों में उन्हें जबरदस्त जागरुक शाब्दिक रूप से जागृत जागरुक और सक्रिय नागरिक बनने के लिए सक्षम बनाता है ग्राम्या संस्थान से सुरेन्द्र ने बताया कि युवाओं को जागरूक एवं सक्रिय करने के लिये क्षेत्र क बोदलपुर, करवदिया गनेशपुर शिकारगंज हेतिमपुर बलिया सहित 10 गांवों में जागरूकता कार्यक्रम चलाया जा रहा है। प्रत्येक युवा को जागृत बनाने और प्रत्येक क्षेत्र में जागरुकता बढ़ाने में सक्षम बनाना है। इन युवाओं के साथ बालिका शिक्षा, माहवारी, जेडरगत भेदभाव एवं स्वास्थ्य के मुद्दों के प्रति जागरूक किया गया एवं गांव में कार्य करने हेतु प्लानिंग की गई। इस जमघट में प्रीतम, आशा, मनीषा, अखिलेश, विशाल, रामबली, धुव्र, कंचन, रामबली, रामबिलास, बृजेश और अंजू शामिल रही कार्यक्रम का संचालन नीतू ने किया।