फिरोजाबाद, एस. के. चित्तौड़ी। राष्ट्रीय किसान नौजवान संगठन के जिलाध्यक्ष रामनिवास यादव ने कहा कि किसान योजना के लाभार्थियों की सूची जो लेखपालों को सत्यापन को दी गई है। उसमें ज्यादातर किसानों के नाम नहीं है। जिनके नाम है उन पर जमीन ही नहीं है। जिसके चलते किसानों में आक्रोश पैदा हो रहा है। जिससे आपस में विवाद की स्थिति बन रही है। साथ ही कहा कि लेखपालों को खतौनी में से देखकर ही लाभार्थी सूची बनाई जाये। जिससे गड़बडी की गुजाइश ही नहीं रहे। श्री यादव ने कहा जैसी कि कि भाजपा की कार्यशैली है फूट डालो, आपस में लड़ाओ और शासन करों। परंतु किसान संगठन इसका हर स्तर पर विरोध करता है। अगर जरूरत पड़ेगी तो संगठन आंदोलन करेंगा।
Read More »मेडिकल स्टोर से हजारों की चोरी
फिरोजाबाद, एस. के. चित्तौड़ी। थाना दक्षिण क्षेत्र के पैमेश्वर गेट स्थित गोपीनाथ रोड़ पर शनिवार की आधी रात्रि बाद चोरों ने एक मेडिकल का ताला तोड़कर उसमें रखी हजारों की नकदी साफ कर दी। पुलिस ने घटना स्थल का निरीक्षण किया है।
पैमेश्वर गेट निवासी पिंकी गुप्ता पुत्र हरीष गुप्ता गोपीनाथ रोड़ पर मंगला मेड़ीकल स्टोर चलाते है। पिंकी गुप्ता के अनुसार वह शनिवार की रात्रि मेड़ीकल बंद कर घर गये थे। तभी आधी रात्रि बाद चोरों ने उनके मेड़ीकल का ताला तोड़ दिया और गुल्लक में रखी हजारों की नकदी साफ कर ले गये। घटना की जानकारी उन्हे सुवह उस समय हुई। जव वह दुकान खोलने पहुंचे। दुकान का ताला टूटा देख उन्होंने इसकी सूचना पुलिस को दी। मौके पर पहुंची थाना पुलिस ने घटना स्थल का निरीक्षण करते हुये चोरों की तलाश शुरू कर दी है।
सवर्ण जन जागृति चेतना यात्रा 17 को
फिरोजाबाद, एस. के. चित्तौड़ी। भारतीय सवर्ण महासभा द्वारा सर्वण जन जागृति चेतना यात्रा 17 फरवरी को किड्स हैप्पी स्कूल रसूलपुर से निकाली जायेगी।
प्रदेश अध्यक्ष संजीव उपाध्याय एवं यात्रा संयोजक हर्देश कुमार शर्मा ने जानकारी देते हुए बताया कि 17 फरवरी को सर्वण जन जार्गति चेतना यात्रा किड्स हैप्पी स्कूल रसूलपुर से निकाली जायेगा। जो कि शहीद चौक पाठक मार्केट से शुरू होकर, नालवन्द चौराहा, सदर बाजार, सिनेमा चौराहा, बर्फखाना चौराहा, डाकघर चौराहा, रामलीला चौराहा, कोटला चुंगी होते हुए कोटला रोड बम्बा चौराहा पर सम्पन्न होगी। साथ ही कहा कि सवर्ण समाज हर स्तर पर पिछडा जा रहा है, जिसका कारण एक साजिस के चलते सभी राजनीति दल सवर्ण समाज को शीर्ष नेतृत्व से खत्म करते जा रहे है। आरक्षण रूपी काला कानून समाज के प्रतिभाशाली नौजवानों का भविष्य अंधकार में हो रहा है। 90 प्रतिशत अंक आने पर सर्वण समाज के नौजवान नौकरियों से वंचित रह जाते है। 50 प्रतिशत से कम अंक पर ओबीसी व एससी वर्ग के लोग नौकरियाॅ पा रहे है। युवा उद्योगपति विश्वदीप गुप्ता दीपू ने कहा कि आज समाज के युवाओं को साथ भेदभाव किया जा रहा है। उनको आगे बढ़ने से साजिश के तहत रोका जा रहा है। जागृति से लोगों के गरीब बच्चो को पढ़ाने के साथ आगे बढ़ाया जायेगा। वार्ता के दौरान दिनेष शर्मा, एसके भटनागर, राघवेन्द्र गुप्ता, तरूण उपाध्याय, रविल, राजीव जैन, बाकेश, नीरज शर्मा, रमेशचन्द्र, अशोक कुमार शर्मा, ठा. मोहनसिंह, पंकज पाठक, विश्वदीप गुप्ता दीपू आदि मौजूद रहे।
महिला शक्ति का निःशुल्क चिकित्सा शिविर 13 को
फिरोजाबाद, एस. के. चित्तौड़ी। जायन्ट्रस ग्रुप ऑफ फिरोजाबाद महिला शक्ति द्वारा रविवार को बसन्त पंचमी उत्सव धूमधाम के साथ मनाया गया। वहीं महिला शक्ति की पदाधिकारियों द्वारा माॅ सरस्वती की प्रतिमा पर माल्यापर्ण एवं दीप प्रज्जवलन किया गया।
महिला शक्ति की अध्यक्ष वर्तिका जैन एवं समाजसेविका कल्पना राजौरिया ने प्रेसवार्ता के दौरान बताया कि महिला शक्ति द्वारा 13 फरवरी को सुबह नौ बजे से सांय दो बजे तक एक निःशुल्क नेत्र जांच एवं आपरेशन शिविर का आयोजन रहना तहसील रोड स्थित नानक चन्द्र अग्रवाल की कोठी पर किया गया है। जिसमें फिरोजाबाद एसएन हाॅस्पीटल के कुशल नेत्र चिकित्सकों के द्वारा मरीजों की जांच एवं ऑपरेशन किये जायेगे। वहीं महिला शक्ति के द्वारा मरीजों को निःशुल्क चश्में बांटे जायेगे। वार्ता में प्रशासनिक निर्देशिका पूनम गुप्ता, यूनिट डारेक्टर सौम्या चौहान, अनु बंसल, नीतू बंसल, ऊषा पोरवाल, रैनू अरोरा आदि मौजूद रही।
सीओ तेजबहादुर सिंह ने अवैध शराब समेत आधा दर्जन लोगों को पकड़ा
डेरापुर/कानपुर देहात, लालू भदौरिया। आज रविवार को सीओ तेजबहादुर सिंह ने बरौर मंगलपुर थाना की पुलिस टीम के साथ लाडपुर पैठ अनंतपुर का पुरवा गावों में छापेमारी कर 3000 लीटर लहन व 200 लीटर तैयार शराब समेत तीन महिलाओं समेत आधा दर्जन लोगों को पकड़ के गिरफ्तार कर कार्यवाही शुरू कर दी है।
सीओ तेजबहादुर सिंह ने इस बारे में बताया कि बरौर, मंगलपुर व डेरापुर थाने की संयुक्त पुलिस टीम के साथ मल्लाहनपुरवा गांव में छापा मारकर तीन हजार लीटर लहन, दो सौ लीटर कच्ची देशी नाजायज शराब, शराब बनाने के उपकरण गैस सिलेंडर, ड्रम, गैसभटटी, खाली भरे पीपे, सहित अन्य सामग्री बरामद की है। साथ ही दारू बनाने के काम में लगी देवी पत्नी राम शंकर, धनवती पत्नी अजब सिंह, सुमन पत्नी भूपेंद्र, राम शंकर पुत्र अंगद, कन्हैया पुत्र रामाधार, मिजाजी पुत्र बुधलाल को गिरफ्तार किया। थानाध्यक्ष रामबहादुर पाल ने बताया कि सभी के खिलाफ शराब अधिनियम के तहत कार्यवाही की जा रही है।
शिवपाल यादव का 64वां जन्मदिन मनाया
कानपुर। प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष शिवपाल यादव का 64वां जन्मदिन रामादेवी में स्थित नरेश सिंह चौहान प्रदेश सचिव (यूथ ब्रिगेड) के कार्यालय में केक काटकर बहुत हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। इस मौके पर सभी कार्यकर्ताओं ने चाचा जी यानिकि शिवपाल यादव की लंबी उम्र की कामना कामना की और ढेरों बधाई दी। इस मौके पर इरफान अहमद (महाराजपुर विधानसभा), राजकिशोर, ऋषभ राज, अर्चना सिंह, राजेश सिंह, यश गुप्ता, जयदेव कुमार, बबलू यादव, शिवानी सिंह, राजन, रामसजीवन, सत्यम तिवारी, शुभम तिवारी, अजीत कुमार, अशद अख्तर आदि लोग मौजूद रहे।
Read More »स्वाइन फ्लू के वायरस के उपायों एवं उपचार के सम्बन्ध में विस्तृत जानकारी हेतु सघन प्रचार-प्रसार के मुख्य सचिव के निर्देश
स्वाईन फ्लू से ग्रसित कैटेगरी-सी के रोगियों के स्वाब नमूनों की प्रयोगशाला में निःशुल्क जांच की सुविधा प्रयागराज तथा झांसी जनपदों में भी उपलब्ध करायी जाए: मुख्य सचिव
लखनऊ, जन सामना ब्यूरो। उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव डाॅ0 अनूप चन्द्र पाण्डेय स्वाइन फ्लू (एन्फ्लुएन्जा-ए-एच1एन1) के सम्बन्ध में आमजन को इस वायरस जनित रोग के प्रमुख लक्षणों, रोकथाम एवं बचाव के उपायों एवं उपचार के सम्बन्ध में व्यापक जानकारी दिए जाने हेतु सघन प्रचार-प्रसार कराए जाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने यह भी निर्देश दिए कि प्रचार अभियान के दौरान इस बात की विस्तृत जानकारी दी जाए कि आमजन इस सम्बन्ध में क्या करें या क्या न करें।
प्राथमिक शिक्षा में विज्ञान शिक्षण की चुनौती भरी राह
विज्ञान का अध्ययन बच्चों को तर्कशील एवं विवेकवान बनाता है। वे अवलोकन, प्रेक्षण, परिकल्पना, प्रयोग, निरीक्षण एवं निष्कर्ष के सोपानों से गुजरकर किसी तथ्य का अन्वेषण करते हुए एक सैद्धान्तिक फलक की रचना करते हैं जिसमें सच की इबारत लिखी होती है। फलतः बच्चों में वैज्ञानिक दृष्टि एवं सोच विकसित होती है और वह किसी घटना के निहितार्थ को विज्ञान की कसौटी पर कस कर ही आगे बढ़ते हैं न कि आंख मूंद स्वीकार कर अंधविश्वास के गहन अंधेरे पथ पर फिसलतेे हैं। अवैज्ञानिक सोच का ही परिणाम है कि कभी गणेश मूर्तियां दूध पीने लगती है तो कभी क्रास से रक्त की धारा फूट बहने लगती है। आस्था, कर्मकाण्ड या अंधविश्वास का रास्ता विज्ञान के प्रासाद के द्वार पर आकर ठहर जाता है। विज्ञान के उपवन में अंदर वही प्रवेश कर सकता है जिसकी चेतना विज्ञानमय हो और दृष्टि एवं सोच दर्पण की मानिंद निर्मल। पर दुर्भाग्य से देश में ऐसा है नहीं। उपग्रह प्रक्षेपण के पूर्व विध्नहरण के लिए वैज्ञानिकों द्वारा किये जाने वाले हवन-पूजन के दृश्य उनके स्वयं के प्रयोग के विश्वास प्रति सवाल खड़ा करते हैं। यदि विज्ञान के शिक्षक बिल्ली के रास्ता काट जाने पर अपनी यात्रा स्थगित कर दें, सिर पर कौवा बैठ जाने को मृत्यु की सूचना समझ लें, रास्ते पर पानी से भरी बाल्टी और बछड़े को दूध पिलाती गाय मिलना शुभ और सफलता की गारंटी मान लिया जाये तो सोचना पडेगा कि वह विद्यार्थियों को कैसा विज्ञान बोध करा रहे होंगे। उल्लेखनीय है कि बच्चों में इसका बीजवपन समाज एवं घर-परिवार द्वारा पहले ही कर दिया गया होता है और हमारी प्राथमिक शिक्षा के केन्द्र उसके निर्मूलन की बजाय खाद-पानी दे पोषण का काम करते हैं। कालेज तक आते आते उसके अन्तर्मन में अंधविश्वास और ठकोसलों की जड़ें इतनी गहरी और पुष्ट हो जाती हैं कि उन्हें उखाड़ फेंकना असम्भव सा हो जाता है। रही सही कसर शिक्षकों का अतार्किक अवैज्ञानिक आचरण पूरी कर देता है।
आजादी के सत्तर सालों के बाद भी हम देश में एक वैज्ञानिक वातावरण क्यों नहीं बना पाये। क्यों हमने अपनी प्राथमिक शिक्षा को विज्ञान का दृढ़ आधार नहीं दे सके। क्यों किसी भी प्राथमिक स्कूल में विज्ञान का कोई छोटा-सा भी उपकरण बच्चों के हाथ में नहीं पहुंच पा रहा। क्यों विज्ञान को किताबांे से लिखाया और रटाया जाता रहेगा। प्रयोग के लिए जगह और अवसर कब-कहां मिलेगा। क्यों विज्ञान के शोधों में हम वैश्विक स्तर पर कहीं दिखाई नहीं देतें। कब तक हम विश्वगुरु होने का थोथा गान गाते फिरते रहेंगे। उत्तर कौन देगा, सर्वत्र मौन पसरा है। जाति, धर्म एवं भाषा के नाम पर तो आये दिन आंदोलन होते हैं पर प्राथमिक विद्यालयों में वैज्ञानिक उपकरणों एवं प्रयोगशालाओं की व्यवस्था के लिए क्यों नहीं कोई आंदोलन होता। प्राथमिक विद्यालयों से उभर रहे दृश्य निराश करतेे हैं क्योंकि उनमें विज्ञानमय जीवन की धड़कन सुनाई नहीं देती बल्कि अंधविश्वास की जड़ता का कर्कश स्वर गूंजता है।
ताला तोड़कर घर में चोरी, समाचार पत्र विक्रेता को चोरों ने बनाया निशाना
घाटमपुर/कानपुर, शीराजी। बीती रात अज्ञात चोरों ने समाचार पत्र विक्रेता के सूने घर का ताला तोड़कर नगदी व जेवर चोरी कर लिए और मौके से फरार हो गए। प्राप्त जानकारी के अनुसार कस्बे के मोहल्ला आछीमोहाल पश्चिमी निवासी राजन शुक्ला का पुत्र रविंद्र कुमार शुक्ला समाचार पत्र विक्रेता है। पीड़ित ने बताया कि 9 फरवरी को वह अपनी भतीजी की शादी में शरीक होने के लिए सपरिवार बिठूर गया था। घर में ताला बंद था। अज्ञात चोरों ने घर का ताला तोड़ने के बाद बक्से में रखे RS 82000 नगद व सोने की बेसर दो चांदी की पायल 8 कीमती साड़ियां आदि सामान बक्से का लॉक तोड़कर चोरी कर लिए हैं। आज अपराहन जब वह वापस घर लौट कर आया तो देखा घर में सामान बिखरा पड़ा था। पीड़ित ने अपने साथियों को घटना से अवगत कराया। समाचार पत्र विक्रेता संघ के कार्यवाहक अध्यक्ष टिंकू बाजपेई ने हरीश चंद्र अवस्थी, अशोक दीक्षित, प्रमोद कुमार, राजू गुप्ता, मदन गोपाल गुप्ता आदि के साथ थाने में पहुंचकर लिखित शिकायत की है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
Read More »नागा साधुओं की रहस्यमयी जीवनशैली
नागाओं की एक अलग ही रहस्यमय दुनिया है। चाहे नागा बनने की प्रक्रिया हो या उनका रहन-सहन सब कुछ रहस्य मय है। नागा साधुओं को वस्त्र धारण करने की भी अनुमति नहीं होती। अगर वस्त्र धारण करने हो, तो सिर्फ गेरुआ रंग के वस्त्र ही नागा साधु पहन सकते हैं। वह भी सिर्फ एक वस्त्र, इससे अधिक गेरुआ वस्त्र नागा साधु धारण नहीं कर सकते।नागा साधुओं को शरीर पर सिर्फ भस्म लगाने की अनुमति होती है। नागाओं का यह श्रृंगार सिर्फ कुंभ के दौरान होने वाले स्नान के वक्त नजर आता है।मान्यता है कि सभी श्रृंगारों से युक्त नागा के दर्शन से कई जन्मों का पुण्य मिलता है।अखाड़ों से जुड़े नागा संतों का कहना है कि इस श्रृंगार की एक विधि है और यह सिर्फ खास अवसर पर किया जाता है। 17 श्रृंगार से सुसज्जित नागा अपने इष्ट यानी भगवान भोलेनाथ और भगवान विष्णु की पूजा करता है।
एक नागा श्रृंगार में लंगोट, भभूत, चंदन, पैरों में लोहे या चांदी का कड़ा, अंगूठी, पंचकेस, कमर में फूलों की माला, माथे पर रोली का लेप, कुंडल, हाथों में चिमटा, डमरू या कमंडल, गुथी हुई बताएं जटायें, तिलक, काजल, हाथों में कड़ा, बदन में विभूति का लेप, बाहों पर रुद्राक्ष की माला शामिल होती है। आमतौर पर एक सुहागिन महिला सोलह सिंगार करती है लेकिन यह नागा साधु अपने 17वें सिंगार के लिए जाने जाते हैं। 17वाँ सिंगार है “भस्म” जो कि नागा साधुओं का एकमात्र परिधान होता है। हर नागा अपने शरीर पर सफेद भस्म और रुद्राक्ष की मालाओं के अलावा कुछ नहीं पहनता। मान्यता है कि भगवान शंकर ऐसे ही 11000 रुद्राक्ष मालायें धारण करते थे।