कानपुरः जन सामना संवाददाता। सरकारी और गैर सरकारी जमीन पर अवैधरूप से कब्जा करने वाले भू-माफियाओं का खात्मा करने की योगी सरकार के मंसूबों को कानपुर विकास प्राधिकरण पलीता लगाता दिख रहा है। इसी लिए शहर के भू-माफियाओं के मन में सरकार व प्रशासन का डर खत्म से हो गया है। जिसका जीता जागता उदाहरण है कानपुर दक्षिण के बर्रा-6 में स्थित तालाब, जो आज भी कागजों में तालाब दर्ज है लेकिन फर्जी कागजात तैयार कर तालाब की भूमि को अपना बताकर भू-माफियाओं द्वारा अवैध तरीके से बेचा जा रहा है। वहीं क्षेत्रीय लोगों की माने तो भू-माफियाओं की नजर अब वहां स्थित मंदिर पर टिक गई है और उस पर कब्जा करने का मन भू-माफियाओं ने बना लिया है। अब ऐसे में सवाल यह उठता है कि भू-माफियाओं पर कानपुर विकास प्राधिकरण क्यों मेहरबान है?
अवैध कब्जा हटाने के लिये कई लोगों ने की नारेबाजी
भू-माफियाओं द्वारा किये गए अवैध कब्जे का विरोध क्षेत्र में रहने वाले अभय ठाकुर, रवि ठाकुर, टिल्लू अवस्थी, श्याम यादव, पंकज गौतम, ज्ञानू ठाकुर, शिवम, शिवा तिवारी, अंशु निगम, रोहित शुक्ला, जतिन शर्मा, अतुल प्रताप सिंह, अमित सिंह यादव ने किया और पार्क के गेट पर बैठकर नारेबाजी की। नारेबाजी करने वाले लोगों ने बताया कि क्षेत्र का यह एकलौता पार्क है जिसमें बच्चे खेल कूद कर अच्छे वातावरण का लुत्फ लेते थे लेकिन पंगू यादव की सह पर बर्रा-6 निवासी छोटे उर्फ योगेंद्र यादव ने कब्जा करके पार्क के मुख्य गेट पर ताला डाल दिया है जिसकी वजह से विश्व पर्यावरण दिवस पर पार्क में पौधारोपण भी नहीं कर पाए। यह भी मांग की कि कानपुर प्रशासन जल्द से जल्द पार्क का ताला खुलवाकर इसे कब्जा मुक्त कराया जाए।