मथुराः श्याम बिहारी भार्गव। बच्चों को कृमि संक्रमण (पेट के कीड़े) से बचाने के लिए राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस गुरुवार को अभियान चलाकर दवा खिलाई जाएगी। इसके तहत जिले के समस्त निजी एवं सरकारी व सहायता प्राप्त विद्यालयों और आंगनवाड़ी केन्द्रों पर बच्चों को अल्बेंडाज़ोल की गोली खिलाई जाएगी। कृमि मुक्ति दिवस के सफल आयोजन के लिए दिनांक 31 जुलाई को जिलाधिकारी पुलकित खरे की अध्यक्षता में जनपद स्तरीय अंतर विभागीय समन्वय बैठक का आयोजन किया गया था। जिलाधिकारी द्वारा शिक्षा विभाग, आईसीडीएस विभाग व स्वास्थ्य विभाग को निर्देशित किया गया था कि कार्यक्रम के सफल आयोजन के लिय सभी विद्यालयों के शिक्षकों एक बार प्रशिक्षण अवश्य करा दिया जाए। सभी जगह टास्क फोर्स की बैठक कर ली जाए व पर्याप्त मात्रा में आंगनवाड़ी केंद्र व विद्यालयों पर दवा एवं प्रारूप की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. अजय कुमार वर्मा ने बताया कि कृमि संक्रमण कुपोषण का एक बहुत बड़ा कारण है। पेट के कीड़े संक्रमित व्यक्ति के शरीर से पोषण लेते है, इसके कारण अच्छा पौष्टिक भोजन देने के बाद भी बच्चा कुपोषित रहता है। सीएमओ ने बताया कि एक से 19 वर्ष तक की आयु के सभी बच्चों और किशोरों को कृमि संक्रमण से बचाने के लिए प्रदेश में वर्ष में दो बार अभियान चलाया जाता है। नोडल अधिकारी ने बताया कि इस वर्ष भी राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस के अवसर पर शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में अभियान चलाकर कृमि मुक्ति के लिए 13.88 लाख बच्चों को पेट के कीड़े निकालने की दवा (अल्बेंडाज़ोल की गोली) खिलाई जाएगी। दवा खाली पेट नहीं खानी है। दवा खाने के बाद उल्टी दस्त या मिचलाने की समस्या हो तो घबराने की बात नहीं है। जिला सामुदायिक प्रक्रिया प्रबंधक डॉ पारुल शर्मा ने बताया कि इस अभियान को आशा, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता और स्कूलों के सहयोग से चलाया जायेगा। आंगनवाड़ी केंद्रों व सरकारी सहायता प्राप्त निजी विद्यालयों, मदरसों आदि में 01 से 19 वर्ष तक के सभी पंजीकृत बच्चों को आंगनवाड़ी कार्यकत्री व शिक्षकों के माध्यम से दवा खिलाई जाएगी। साथ ही 19 वर्ष तक के स्कूल न जाने वाले बच्चों को आशा द्वारा सूची बनाकर आंगनवाड़ी केंद्र पर लाकर आंगनवाड़ी कार्यकत्री के द्वारा 10 अगस्त को दवा खिलाई जाएगी। अभियान के बाद 17 अगस्त को जनपद में मॉपअप राउंड चलाया जाएगा। इसमें स्कूलों और आंगनवाड़ी केंद्रों पर कृमि मुक्ति दिवस के दिन जो बच्चे एवं किशोर किशोरी अनुपस्थित रहने या किन्हीं अन्य कारणों से दवा खाने से वंचित रह जायेंगे। उनकी सूची तैयार कर मॉप अप राउंड में दवा खिलाई जाएगी।
⇒यह हैं कृमि मुक्ति के फायदे-
→रोग प्रतिरोधक शक्ति में वृद्धि
→स्वास्थ्य और पोषण में सुधार
→एनीमिया नियंत्रण
→समुदाय में कृमि व्यापकता में कमी
→सीखने की क्षमता और कक्षा में उपस्थिति में सुधार