Monday, April 29, 2024
Breaking News
Home » मुख्य समाचार » संस्था ने स्थापना दिवस पर लगाया ब्लड डोनेशन कैंप

संस्था ने स्थापना दिवस पर लगाया ब्लड डोनेशन कैंप

चन्दौली। विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार भारत में सालाना एक करोड़ यूनिट रक्त की जरूरत होती है। लेकिन करीब 75 प्रतिशत रक्त ही उपलब्ध हो पाती है, जिसके कारण लगभग 25 लाख यूनिट खून के अभाव में हर साल सैकड़ों मरीज़ों की जान चली जाती है। सवा अरब आबादी वाले भारत देश में रक्तदाताओं का आंकड़ा कुल आबादी का एक प्रतिशत भी नहीं है, जिसका एक बड़ा कारण है रक्तदान से जुड़ी जागरुकता का ना होना। रक्त की कमी न हो इसीलिए हमेशा जनसेवा में समर्पित रहने वाली संस्था खुशी की उड़ान ने इसका बीड़ा उठाया है। संस्था ने अपने स्थापना दिवस के उपलक्ष्य में पंडित दीनदयाल नगर चंदौली में काशी हिंदू विश्वविद्यालय के सहयोग से ब्लड डोनेशन कैम्प लगा कर संस्था ने अपने वर्षगाँठ के अवसर पर 54 रक्तवीरों के सहायता से रक्तदान कर जीवन को संरक्षित करने का कार्य किया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि प. दीनदयाल नगर के विधायक ने कहा कि तुम मुझे खून दो मैं तुम्हे आजादी दूंगा यह कहने वाले नेताजी नहीं है परन्तु उनके कथनों को आत्मसात कर हम दूसरों के जीवन को आजादी से रखने का प्रयास कर सकते है। खुशी की उड़ान बड़ा ही ईश्वरीय कार्य कर रही है, संस्था को जब भी मेरी आवश्यकता होगी जनता के सेवक होने के नाते मैं मजबूती से खड़ा मिलूंगा।
वहीं कार्यक्रम के मुख्य अतिथि अपर जनपद न्यायाधीश ने लोगों को जागरूक करते हुए कहा कि दुर्भाग्य का विषय यह है कि रक्तदान को लेकर बड़ी भ्रांतियां फैली हुई है जैसे रक्तदान के वजह से कमजोरी होना या शरीर का खून पूरा निकल जाना जबकि सत्यता यह है कि रक्तदाता से एक बार में 350 मि.ली. रक्त लिया जाता है जो शरीर में उपलब्ध रक्त का लगभग 15 वां भाग होता है। रक्तदान हमेशा करते रहने चाहिए। वहीं कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि डॉ विनीत मिश्र जी ने अपील करते हुए कहा कि रक्तदान में सिर्फ पहली बार तक ही यह भ्रांतियां होती है, उसके साथ सारी भ्रांतिया ऐसे टूटती है जैसे कि कोई शीशा पत्थर पर गिरने से टूटता है शीशा तभी तक मजबूत है। जब तक वह पत्थर से नही मिला रहता है ठीक उसी तरह रक्तदान करते समय हर एक बून्द हर क्षण भ्रांतियो को समाप्त करता है। वहीं संस्था की संस्थापिका सारिका दुबे ने कहा कि एक यूनिट ब्लड से 4 जिंदगियों को बचाया जा सकता है, 4 जिंदगियां 4 परिवारों की मुस्कान जुड़ी होती हैं। ईश्वर के दिये गए जिंदगी में हम किसी के काम आ सकते है तो हमे काम आना चाहिए। वहीं सर सुंदरलाल के ब्लड बैंक से आशुतोष सिंह ने कहा कि शरीर में रक्तदान के तत्काल बाद रक्त की प्रतिपूर्ति करने की प्रक्रिया 24 घंटे में प्रारंभ हो जाती है एवं अगले कुछ दिनों में रक्त की प्रतिपूर्ति हो जाती है। इस अवसर पर संस्था के महासचिव देव जायसवाल, सचिव रितिक कुमार एवं विकास गुप्ता मीडिया हेड सुदीक्षा दुबे, प्रियंका गुप्ता, सुकन्या दुबे, प्रियांशु, सिज्जल, कृतिका, रिंकी, रागिनी, प्रियंका, शिखा राय, रहमान, आदित्य, असगर एवं अन्य लोग उपस्थित रहे।