कानपुर नगर। जिला समाज कल्याण अधिकारी, डा0 प्रज्ञा पाण्डेय ने बताया है कि अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग एवं सामान्य वर्ग के गरीब व्यक्तियों की शादी हेतु “मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना” के अन्तर्गत गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले जरूरतमंद, निराश्रित/निर्धन परिवारों की विवाह योग्य कन्या/विधवा/परित्यक्ता/तलाकशुदा महिलाओं को सामूहिक विवाह सम्पन्न कराकर, कार्यक्रम में सम्मिल्लित होने वाले लोगों को उनकी सामाजिक/धार्मिक मान्यता एवं परम्परा/रीति-रीवाज के अनुसार विवाह करने की व्यवस्था है।
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प्रधानमंत्री आवास योजना से घर का सपना हुआ साकार – रामकली
कानपुर नगर। प्रधानमंत्री आवास योजना गरीबों के लिये बहुत ही उपयोगी एवं बरदान साबित हो रही है। इस योजना से जनपद के विभिन्न लाभार्थियों को लाभान्वित किया जा रहा है। प्रधानमंत्री आवास योजना की लाभार्थी रामकली पत्नी राम नारायन, नि0- ग्राम पंचायत जमरेही, कानपुर नगर ने बताया है कि मेरे पति मजदूरी/राजगीरी का कार्य करते थे। परन्तु कुछ समय पूर्व उनका दुर्घटना में पैर टूट गया था, जिससे वह चलने फिरने में असर्मथ हो गये है। मैं और मेरा परिवार टूट गया।
खादी बन रही प्रदेश के विकास में सहायक, हो रहे नये-नये नवाचार
‘‘खादी की रजत चंद्रिका जब-आकर तन पर मुस्काती है,
तब नवजीवन की नई ज्योति अन्तस्तल में जग जाती है‘‘
भारत की आजादी के लिए हुए आंदोलन में खादी ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। महात्मा गाँधी ने खादी को सामाजिक एवं आर्थिक क्रांति का माध्यम बनाया था। उन्होंने स्वयं भी चरखा चलाकर सूूत कातने को अनवरत जारी रखा और साथ ही राष्ट्रपिता गाँधी जी ने भारत के व्यापक जनमानस को भी प्रेरित किया कि वह स्वयं के काते हुए सूत से बने वस्त्ऱ ही पहनें। इस प्रकार राष्ट्र निर्माण के लिए हुए व्यापक संघर्ष में खादी प्रमुख भूमिका में रही। खादी आजादी के लिए हुए आंदोलन में विरोध की भी प्रतीक बनी जब आजादी के लिए बापू ने लोगों से विदेशी वस्त्रों के स्थान पर खादी पहनने की अपील की। और जनता ने भी इस अपील को हाथों हाथ लिया।
10 वर्ष तक की अपनी बिटिया के लिए सुकन्या समृद्धि योजना में करें निवेश
लखनऊ। बेटी पढ़ाओ, बेटी बचाओ व समृद्ध सुकन्या, समृद्ध समाज के तहत प्रधानमंत्री, भारत सरकार की महत्वकांक्षी योजनाओं में से सुकन्या समृद्धि योजना प्रमुख है जिसमें देश की बेटियों की उच्च शिक्षा और शादी के लिये बचत करने के लिहाज से 0-10 वर्ष तक की बालिकाओं का न्यूनतम धनराशि रु0 250/- से सुकन्या समृद्धि खाता खोला जा सकता है। उपरोक्त खाते में 14 वर्ष तक प्रत्येक वर्ष न्यूनतम धनराशि रु0 250/- व अधिकतम धनराशि रु0 1,50,000/- जमा कर सकते हैं। प्रत्येक वित्तीय वर्ष के लिये ब्याज का निर्धारण भारत सरकार द्वारा किया जाता है व वर्तमान में भारत सरकार द्वारा ब्याज दर 7.6% निर्धारित किया गया है।
UP सरकार धार्मिक एवं पर्यटन सुविधाओं का विकास कर आस्था का कर रही है सम्मान
सभ्यता एवं संस्कृति के उदय के साथ ही मनुष्य की आस्था का भी उदय हुआ। इसी के साथ धर्म एवं धर्म से जुड़े स्थलों की महत्ताभी बढ़ी। उत्तर प्रदेश में अनेक धर्मों से जुडे़ बहुत से प्रसिद्ध तीर्थ स्थल हैं, जहॉ प्रति वर्ष अनेक लोग अपनी-अपनी आस्था एवं विश्वास के अनुसार दर्शन करने आते हैं। इनमें काशी, अयोध्या, मथुरा, प्रयागराज, फतेहपुर सीकरी आदि प्रमुख है। इसके अलावा पर्यटन की दृष्टि से भी ऐसे स्थलों का महत्व है। पूरे देश से एवं विदेशों से भी पर्यटक यहां घूमने आते हैं। ऐसे में प्रदेश के इन दर्शनीय स्थलों एवं पर्यटन की दृष्टि से महत्वपूर्ण जगहों का विकास एवं सौन्दर्यीकरण किया जाना आवश्यक है, जिससे आस्था का सम्मान हो सके एवं समाज एवं राज्य की छवि बेहतर हो सके।
प्रदेश सरकार की खेल नीति से, खिलाड़ियों में खेलों के प्रति बढ़ा रूझान
मानव इस भूमण्डल का सबसे महत्वपूर्ण प्राणी है। मानव में अन्य प्राणियों की अपेक्षा सोचने-समझने, चिन्तन करने की शक्ति अधिक होती है किन्तु मस्तिष्क के विकास के साथ-साथ शारीरिक शक्ति होना भी जरूरी है। जीवन की पहली आवश्यकता स्वस्थ शरीर है। अच्छे स्वास्थ्य के लिए शारीरिक श्रम, व्यायाम, योग एवं खेलकूद आवश्यक है। खेल चाहे किसी भी तरह का हो उससे शारीरिक, मानसिक, मनोवैज्ञानिक और बौद्धिक स्वास्थ्य के साथ गहराई से जुड़ा है। खेल एक शारीरिक क्रिया है, जिसके तरीके और नाम अलग हैं। खेल मनुष्य के अन्दर प्रेरणा, साहस, उत्साह, अनुशासन, स्वस्थ स्पर्धा और एकाग्रता लाता है। व्यक्ति के व्यक्तित्व के वृद्धि तथा विकास के साथ ही खेल देश के लिए भी उपयोगी है। खेल मनुष्य में अच्छी भावना, समानता और सामूहिकता का भाव लाता है।
गरीब व्यक्तियों की शादी हेतु मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना
कानपुर नगर। जिला समाज कल्याण अधिकारी, डा0 प्रज्ञा पाण्डेय ने बताया है कि अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग एवं सामान्य वर्ग के गरीब व्यक्तियों की शादी हेत मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना के अन्तर्गत गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले जरूरतमंद, निराश्रित/निर्धन परिवारों की विवाह योग्य कन्या/विधवा/ परित्यक्ता/तलाकशुदा महिलाओं को सामूहिक विवाह सम्पन्न कराकर, कार्यक्रम में सम्मिल्लित होने वाले लोगों को उनकी सामाजिक/धार्मिक मान्यता एवं परम्परा/रीति-रीवाज के अनुसार विवाह करने की व्यवस्था है।
अल्पसंख्यक समुदाय के छात्र/छात्राओं हेतु नेशनल स्कालरशिप पोर्टल (NCP) पर
कानपुर नगर। जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी पी0एन0 सिंह ने बताया है कि अल्पसंख्यक कार्य मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा संचालित प्री-मैट्रिक, पोस्ट मैट्रिक एवं मेरिट-कम-मीन्स छात्रवृत्ति योजनान्तर्गत अल्पसंख्यक वर्ग (मुस्लिम, सिक्ख, बौद्ध, जैन, पारसी एव क्रिस्चन) के छात्र/छात्राओं हेतु नेशनल स्कालरशिप पोर्टल (एन0एस0पी0) पर आनलाईन आवेदन करने की समय सारिणी जारी कर दी गयी है जो निम्न प्रकार है।
प्रदेश के बुजुर्गों को सहायता देने के लिए संचालित ‘‘अटल वयो अभ्युदय योजना”
प्रदेश सरकार, प्रदेश के बुजुर्गों को समस्त प्रकार की सहायता देने के लिए संचालित ‘‘अटल वयो अभ्युदय योजना’’ के तहत ‘‘प्रोजेक्ट एल्ड़रलाइन’’ की हेल्पलाइन नं0 14567 पर प्राप्त समस्या का कर रही है समाधान
कानपुर नगर। प्रदेश में कोरोना महामारी ने प्रदेश के कुछ परिवारों के कमाने वालो को अपनी चपेट में ले लिया और उनके निधन से उनके वृद्ध परिवारी जनों पर परेशानियाँ आने लगी। साथ ही कुछ बुजुर्ग गरीबी व असहाय होने के कारण अपनों से बिछड़ कर सड़कों के फुटपाथ पर जीवन बिताने को मजबूर हो गये। कुछ ऐसे बुजुर्ग है जिनके बच्चे बाहर है, या बेसहारा संतान न होने पर जीवन का दर्द व रूपये की तंगी के कारण बीमारी का इलाज दवाओं, खाद्य सामग्री, आवासीय सुविधा आदि से वंचित होने पर उनके समक्ष समस्या आती है।
PMMY से 14.96 लाख करोड़ रुपये की धनराशि के 28.68 करोड़ से अधिक के ऋण स्वीकृत
पीएमएमवाई ने 2015 से 2018 तक 1.12 करोड़ शुद्ध अतिरिक्त रोजगार सृजन में सहायता की
नई दिल्ली। वित्त मंत्रालय आर्थिक रूप से कमजोर और वंचित वर्गों के वित्तीय समावेश और उन्हें सहायता प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है। नवोदित उद्यमियों से लेकर परिश्रमी किसानों तक सभी हितधारकों की वित्तीय आवश्यकताओं को भी विभिन्न पहलों के माध्यम से पूरा किया गया है। इसके लिए एक महत्वपूर्ण पहल प्रधानमंत्री मुद्रा योजना (पीएमएमवाई) ने स्व-रोजगार और स्वतंत्र रूप से कार्य करने की भावना के साथ-साथ लाखों लोगों के सपनों और आकांक्षाओं को पंख दिए हैं।