कानपुर, जन सामना ब्यूरो। इनर व्हील की शुरुआत ग्रेट ब्रिटेन की मार्गरेट ओलिवर गोल्डिंग के द्वारा 10 जनवरी 1924 ई0 में ग्रेटब्रिटेन के मैनचेस्टर क्लब में हुई। भारत वर्ष में 65 वर्षों में इनर व्हील में जम्मू से लेकर कन्या कुमारी और नागालैंड से लेकर कच्छ तक 1341 क्लबों से 39000 सदस्याएँ विभिन्न कार्यक्षेत्र में जुड़ी हुईं हैं। यह विश्व की सबसे बड़ी महिला संस्था है जिसका उद्देश्य मित्रता, व्यक्तिगत सेवा और अंतरराष्ट्रीय सद्भावना को प्रोत्साहित करना है।
भारत की 41 वीं राष्ट्रीय अध्यक्षा प्रभा रघुनंदन के नेतृत्व में अंतरराष्ट्रीय लक्ष्य ‘‘खुशहाल भविष्य बेहतर जिंदगी’’ के अंतर्गत पूरे देश के इनर व्हील क्लबों के द्वारा समाज के विभिन्न वर्गों के जरूरतमंदों के लिए अनेकों कार्य किए गए।ग्रामीण इलाकों में महिलाओं के लिए व्यावसायिक प्रशिक्षण केन्द्र खोले गए तथा उन्हें कंप्यूटर की शिक्षा दी गई। लड़कियों के लिए आत्मरक्षा शिविर का आयोजन कर उन्हें प्रशिक्षित किया गया तथा कानूनी अधिकारों की जानकारी देकर उन्हें जागरूक किया गया।
महिला जगत
स्किन को जरूर रखें स्वस्थ
मेकअप आपको भले ही आपको ऊपरी खूबसूरती दे, लेकिन जब तक आपकी त्वचा भीतर से स्वस्थ नहीं होगी, आप सच्ची सुंदरता हासिल नहीं कर सकती। इसके लिए जरूरी है कि आप त्वचा की सही प्रकार से देखभाल करें और उसे जरूरी पोषण प्रदान करें। आइए जानें कुछ ऐसे ही उपाय सी डब्लू सी ब्यूटी एन मेकअप स्टूडियो की सेलिब्रिटी ब्यूटी एन मेकअप एक्सपर्ट शालिनी योगेन्द्र गुप्ता से जो आपको देगी एक बेदाग, निखरी और दमकती त्वचा।
स्किन केयर के लिए करें क्लींजिंग, टोनिंग, मायस्चरायजिंग-
क्लींजिंगः क्लींजिंग एक अच्छा तरीका है स्किन को क्लीन करने का। स्टीम लेने पर त्वचा के रोमछिद्रखुल जाते हे और अंदर से सफाई हो जाती है। होममैड क्लींजर बेस्ट आप्शन है। इसके लिए आप कच्चा दूध लें और उसमे थोड़ा – सा नमक और चाहें तो हल्दी भी मिला लें और काटन बाल से क्लींज करें।
रोज वाटर भी एक अच्छा आप्शन है काटन बाल को गुलाबजल में भिगोकर स्किन साफ करें।
समर में करें हेयर की केयर
गर्मियों में स्किन केयर पर तो आपका पूरा ध्यान होता है, लेकिन हेयर इग्नोर होने की वजह से बेजान लगने लगते हैं। वैसे, इन्हें भी कमाल का बनाया जा सकता है, बशर्ते हेल्दी रुटीन से इनकी केयर की जाए।
गर्मी के मौसम में जिस तरह चेहरे और स्किन को केयर की जरूरत होती है, उतना ही ध्यान हेयर को भी चाहिए होता है। तभी वे हेल्दी और चमकदार रह पाएंगे। इसके लिए आप हेयर की क्लीनिंग के साथ इनकी प्रोटेक्शन और डीप कंडिशनिंग पर भी जोर दें। यहाँ जन सामना की ब्यूटी एडवाइजर व सी डब्लु सी ब्यूटी एंड मेकअप स्टूडियो की सेलिब्रिटी ब्यूटी एंड मेकअप एक्सपर्ट शालिनी योगेन्द्र गुप्ता बता रही है किस तरह हेयर से जुड़ी कई परेशानियों को दूर किया जा सकता है।जिससे इनकी चिपचिपाहट दूर होगी और ये खिले-खिले रहेंगे।
जरूरी है प्रोटेक्शन: धूप में निकलने से पहले किसी अच्छी कंपनी का हेयर सन प्रोटेक्शन सीरम जरूर लगाएं। इसमें एसपीएफ 20 या 30 तक चूज कर सकती हैं। श्हेयर समर प्रोटेक्शन सीरम लगाने से आपके बालों को पूरी प्रोटेक्शन मिलेगी। फिर से थिक भी लगेंगे। वहीं, अगर आप रेग्युलर समर स्पा लेती हैं, तो हेयर को एक फ्रेश और चमकदार लुक मिलेगा। रेग्युलर हेयर स्पा से हेयर को काफी फायदा होगा। आप 15-20 दिनों के इंटरवल में हेयर स्पा ले सकती हैं, जो हेयर पर पड़ने वाले धूप के असर को कम करता है।
करें डीप कंडिशनिंगः तेज धूप से होने वाले नुकसान से हेयर को बचाने के लिए डीप कंडिशनिंग ट्रीटमेंट लेना बहुत जरूरी है। इसमें दो-मुंहे या टूटे-फूटे हेयर की रिपेयरिंग हो जाती है। हेयर को एक्सट्रा कंडिशनिंग देने के लिए इनके एंड्स पर कंडिशनर लगाकर कुछ देर के लिए छोड़ दें। इससे यह डैमेज्ड हेयर तक पहुंच पाएगा और हेयर को माॅइश्चर भी मिलेगा। आप ज्यादा माॅइश्चर वाले शैंपू भी यूज कर सकती हैं।
क्यों होती है आॅइली स्किन की समस्या
आॅइली स्किन का मतलब है आपकी स्किन में लिपिड लेवल यानि वसा की मात्रा ज्यादा होना। आपकी स्किन किस टाइप की है, यह तीन फैक्टर पर निर्भर होता है- पानी, लिपिड लेवल और संवेदनशीलता। आॅइली स्किन अकसर हार्मोनल बदलाव की वजह से होती है, इसका सम्बन्ध लाइफस्टाइल से भी है। आॅइली स्किन चमकदार, मोटी और बेजान होती है। इस तरह की स्किन वाले पुरुष और महिलाओं की आंख के नीचे काले धब्बे आने का खतरा रहता है। आॅइली स्किन में पोर्स यानि त्वचा में पाए जाने वाले छिद्र बड़े-बड़े होते हैं और सैबेकियस ग्लैंड ज्यादा सक्रिय होते हैं। नतीजा ऐसी स्किन आॅइली हो जाती है।
आॅइली स्किन होने का कारणः
माहवारी के दौरान हार्मोनल बदलाव (Hormonal changes during menstruation)
हर महीने मासिक धर्म के दौरान महिलाओं के शरीर में हुए हार्मोनल बदलाव से तैलीय ग्रंथि ज्यादा सक्रिय हो जाती है। इस दौरान निकले एंड्रोजेन हार्मोन की वजह से त्वचा में ज्यादा मात्रा में तेल निकलने लगता है, जिससे त्वचा के छिद्र भी बंद हो जाते हैं।
तनाव से भी बढ़ती है आॅइली स्किन की समस्या
टेंशन ज्यादा लेने से हार्मोनल संतुलन बिगड़ता है। एक शोध के अनुसार तनाव के दौरान शरीर से काॅर्टिसोल हार्मोन का रिसाव होता है जिस वजह से त्वचा तैलीय हो जाती है।
आनुवांशिकता भी है वजह
आॅइली स्किन का सम्बन्ध जीन से भी है। अगर आपके माता-पिता की स्किन आॅइली है तो संभव है आपकी स्किन भी आॅइली होगी क्योंकि ऐसा देखा गया है कि जिन लोगों की स्किन में सैबेकियस ग्लैंड सक्रिय रहती है, उनके बच्चों की त्वचा में भी ये ग्रंथि ज्यादा सक्रिय रहती है।
अपनी मनमर्जी के मुताबिक करें हेयर स्टाइल
फैशन साल दर साल अपना रंग बदलता है और क्यों न बदलें? आज कल यूथ नए ट्रेंड की ओर जल्दी एट्रेक्ट होते हैं और वैसे भी चेंज हर किसी को अच्छा लगता है शायद इसीलिए कहा जाता है कि आप अगर अपनी रूटीन लाइफ से बोर हो गईं हैं तो सबसे पहले अपनी हेयर स्टाइल बदल डालिए जन सामना की ब्यूटी एडवाइजर व सी डब्लू सी ब्यूटी एन मेकअप स्टूडियो की ब्यूटी एन मेकअप एक्सपर्ट शालिनी योगेन्द्र गुप्ता के साथ
लांग हेयर
लंबे बालों के लिहाज से ब्रेडेड टाॅपनाॅट्स और बर्ड्स नेस्ट बन साल की शुरुआत से ही महिलाओं में लोकप्रिय हो रही है। हाॅलीवुड से लेकर बाॅलीवुड तक की सेलिब्रिटीज इनकी दीवानी हो रही हैं। वैसे बर्ड्स नेस्ट बन तो हमारी पुरानी हीरोइनों शर्मिला टेगौर, राखी, हेमामालिनी की फिल्मों में भी खूब दिखाई दिया है। वही ट्रेंड अब थोड़े अलग अंदाज में वापस लौटा है।
नई ब्रेडेड स्टाइल में सिंपल ढीली चोटी गूँथने से लेकर छोटी-छोटी कई चोटियाँ बनाने के अलावा आप हाई पोनीटेल ब्रेड, हेडबैंड तथा फिशटेल जैसी कई हेयरस्टाइल बना सकती हैं। वहीं बर्ड्स नेस्ट बन भी आजकल पार्टीज से लेकर सामान्य दिनचर्या तक में काफी पसंद किया जा रहा है। इसे बुफाॅन नाम से भी प्रचार मिल रहा है।
शार्ट हेयर
वेव्ड बाॅब या वेवी बाॅब्ड इस बार छोटे बालों में काफी अपनाए जा रहे हैं। ये स्टाइल कर्ली हेयर और स्ट्रेट हेयर दोनों में काफी सुंदर दिखाई देती है। साथ ही इससे आपके चेहरे को स्मार्ट लुक भी मिलता है। यह हेयर स्टाइल भी सेलिब्रिटीज से लेकर आम युवतियों तक में काफी पसंद की जा रही है। कंगना रानावत से लेकर प्रियंका चोपड़ा तक आपको पिछले दिनों इस हेयर स्टाइल के साथ आपको दिखाई दी होंगी।
सनस्क्रीन की कहानी शालिनी की जुबानी
गर्मियां शुरू होते ही मीडिया वर्ल्ड सनस्क्रीन के विज्ञापनों से पट जाते हैं। इन विज्ञापनों में ऐसा बताया जाता हैं कि हम सभी को लगता है कि अगर इसे इस्तेमाल किए बिना बाहर निकल गए, तो त्वचा की खराब कर ही वापस आना है, क्योंकि इस तरह की चेतावनी आम है कि जब भी कोई तेज धूप के सीधे संपर्क में आता है, तो गर्मी लगने के साथ-साथ त्वचा के बर्न होने, रंग सांवला होने, चेहरे पर झुर्रियां आने और यहां तक कि सूर्य की अल्ट्रावायलेट किरणों के असर से त्वचा का कैंसर तक होने का डर रहता है। तेज गर्मी में त्वचा को सूर्य की अल्ट्रावायलेट किरणों से बचाने में सनस्क्रीन बड़ी फायदेमंद होती है, लेकिन इसका इस्तेमाल जरूरत के हिसाब से सोच-समझकर ही करना चाहिए। वैसे, बाजार में सनस्क्रीन भरी पड़ी है क्या आपको ये सन प्रोटेक्शन देगी जिससे आप तेज धूप से अपनी त्वचा का बचाव कर सकते हैं। पूरी जानकारी दे रही हैं जन सामना की ब्यूटी एडवाइजर व सी डब्लू सी ब्यूटी एन मेकअप स्टूडियो की सेलिब्रिटी शालिनी योगेन्द्र गुप्ता ।
क्या है एसपीएफ –एसपीएफ सूर्य की किरणों से बचाव का एक मानक शब्द है। यह एक रेटिंग फैक्टर है जो बताता है कि कोई सनस्क्रीन या सनब्लाॅक आपको किस स्तर तक बचाव देता है। एसपीएफ रेटिंग का आधार सुरक्षित त्वचा पर सूरज की किरणों का असर होने में लगने वाले समय और बिना प्रोटेक्शन वाली त्वचा पर सूर्य की किरणों के असर में लगने वाले समय की तुलना है। उदाहरण के तौर पर अगर किसी को एक घंटा धूप में रहने से सनबर्न होता है तो एसपीएफ 15 उसे 15 घंटे धूप में रहने की आजादी देगा, मतलब सनबर्न होने में 15 गुना ज्यादा समय लगेगा। मगर ऐसा तभी हो सकता है जब इन पूरे 15 घंटों में धूप का असर एक सा हो, जो कि संभव नहीं है। मसलन सुबह के समय धूप का असर कम होता है और दोपहर में काफी ज्यादा।
शराब के खिलाफ महिलाओं ने खोला मोर्चा
एस. के. चित्तौड़ी: फिरोजाबाद। यूपी में नई सरकार बनने के बाद शुरू हुआ शराब के ठेकों का विरोध शनै-शनै उग्र रूप लेता जा रहा है। बुधवार को जनपद के कई थाना क्षेत्रों में शराब के ठेकों पर महिलाओं ने धावा बोल कर शराब की कई दुकानों पर जमकर तोडफोड की। यही नहीं कई दुकानों से नगदी लूटे जाने की समाचार भी मिले हैं। घटना के बाद पुलिस प्रशासन ने भी ताबड़तोड कार्रवाई कर दर्जनों महिलाओं और पुरूषों को गिरफ्तार किया है। पकड़े गए लोगों को संगीन धाराओं में जेल भेजने की बात कही गई।
जनपद में महिलाओं के कई समुहों ने थाना दक्षिण, थाना लाइनपार, थाना रामगढ, थाना सिरसागंज और शिकोहाबाद में संचालित सरकारी शराब के ठेकों पर जमकर तोडफोड की। आक्रोशित महिलाओं ने देशी और विदेशी मदिरा की दुकानों के अतिरिक्त बीयर के ठेकों पर धावा बोला। हाथों में लाठी डंडे और ईट-पत्थरों से लैस महिलाओं के समूह ने सबसे पहले लाइनपार स्थित देशी शराब के ठेके को निशाना बनाते हुए ठेका पर रखी हजारों रूपए कीमत की शराब सडक पर फेंक दी। यही नहीं महिलाओं के समूह ने पुलिस चैकी रेलवे रोड के समीप स्थित एक विदेशी मदिरा की दुकान में रखी गई लाखों रूपए की शराब नष्ट कर दी। इस दुकान पर महिलाओं ने जमकर तोड़फोड़ की। यही नहीं महिलाओं ने लाइनपार स्थित दुकान को तहस नहस करने के बाद उसमें आग लगा दी। वहीं शराब की दुकान के ठेकेदारों की माने तो महिलाओं ने तोड़-फोड़ के दौरान दूकान में में रखी लाखों रूपए की नगदी भी लूट ली।
न करें मेकअप में गल्तियां
हर रोज मेकप करना अच्छी बात है लेकिन इसे करने के बाद किसी हाॅरर शो के किरदार जैसा दिखना सही नहीं। इसलिए जब आप मेकप करें तो पहले खुद से वादा कर लें कि आप इससे जुड़े रूल्स फाॅलो करेंगी और मेकप से जुड़ी गलतियां नहीं करेंगी। अगर आपने खुद से ये वादा कर लिया हो तो जन सामना की ब्यूटी एडवाइजर व सी डब्लू सी ब्यूटी एन मेकअप स्टूडियो की सेलिब्रिटी शालिनी योगेन्द्र गुप्ता की बताई इन मेकअप गलतियों को कभी न करें।
स्किन टोन से अलग हो फाउंडेशन का शेड – जब भी आप फाउंडेशन लगाएं तो ध्यान रखें कि फाउंडेशन का टोन आपके फेस के टोन से मिलता हो न कि आपके स्किन टोन से, नहीं तो ऐसा लगेगा जैसे कि आपने कोई मास्क पहना है। इसे खरीदते समय इसे अपने हाथों पर लगा कर ट्राय न करें। आपके हाथ और चेहरे का कलर अलग होता है। इसे हमेशा अपने जा लाइन पर ट्राय करें।
फेस के साथ- साथ गले और कान पर भी लगाए फाउंडेशन- अगर आप फाउंडेशन सिर्फ फेस पर लगाएंगी तो आप बैटमेन के जोकर के अलावा और कुछ नहीं लगेंगी। इसलिए इसे जब भी लगाए तो ध्यान रखें कि इसे आप हल्का सा गले और कानों पर भी लगाए ताकि ये हर जगह से बराबर लगे।
नारी के उत्थान के सपने सिर्फ नारी विमर्श से नही संजोये जा सकते
जालौन, जन सामना ब्यूरो। आधुनिक परिवेश में अधिकांश लेखकों द्वारा नारी विमर्श पर सृजन किया जा रहा है जो कि नारी उत्थान का इतिहास स्वर्णिम अक्षरों में रचने में अहम भूमिका निभा सकता है। लेकिन अभी तक के अपने चिर-परिचित अनुभवों को आधार बनाकर यह कहना बिल्कुल भी अनुचित नही होगा कि नारी उत्थान के सपने सिर्फ नारी विमर्श पर लेखन से नही सजोये जा सकते है बल्कि ये लड़ाई ये मुहिम नारी के अधिकारों की है तकदीर एवं तस्वीर बदलने की है तो मुझे लगता है कि इस दिशा में सफलता हासिल करने के लिये सर्वप्रथम नारी को जागरूक होने और अपने अधिकारों को जानने की आवश्यकता है तभी ये लेखन एक सार्थक लेखन सिद्ध हो सकता है हालाँकि इस बात में भी कोई कसर नही है कि लेखन ने समाज को दिशा और दशा दी है इसलिये नारी विमर्श पर हो रहा सृजन भी कंही न कंही महत्वपूर्ण है।
Read More »शिक्षिकाओं को दिया नेशन विल्ड अवार्ड
हाथरस, जन सामना ब्यूरो। सासनी रोटरी क्लब आफ हाथरस के बैनरतले कन्या इंटर कालेज में आधा दर्जन शिक्षिकाओं को क्लब द्वारा उत्कृष्ट शिक्षा कार्य करने पर रोटरी इंडियन लिटरेचरी मिशन द्वारा नेषन विल्डर अवार्ड दिया गया।
बुधवार को अवार्ड देते हुए क्लब अध्यक्ष रोटेरियन डा.जितेन्द्र सोलंकी ने बताया कि रोटरी अंतर्राष्ट्रीय ने पोलिया उन्मूलन के बाद अशिक्षा को मिटाने के लिए टी-ए-सी-एच कार्यक्रम चलाया है। जिसका अर्थ हैं कि टीचर सपोर्ट साक्षरता प्रौण शिक्षा बाल विकास खुशहाल स्कूल जिसमें कन्या इंटर कालेज की छह शिक्षिकाओं ने अपने शिक्षा कार्य के प्रति अच्छी रूचि दिखाने तथा कार्य की महत्ता को समझने जैसा कार्य किया हैं इसी के लिए उन्हें यह अवार्ड दिया गया है।